scriptपोस्टल बैलेट के जरिए अब नहीं डाल पाएंगे वोट! चुनाव आयोग ने ऑप्शन खत्म करने का रखा प्रस्ताव | Voter employees will also not be able to vote through postal ballot now! Election commission proposed to abolish | Patrika News

पोस्टल बैलेट के जरिए अब नहीं डाल पाएंगे वोट! चुनाव आयोग ने ऑप्शन खत्म करने का रखा प्रस्ताव

Published: Sep 22, 2022 08:47:09 am

चुनाव आयोग ने मतदान कराने वाले कर्माचारियों के लिए पोस्टल बैलेट के जरिए वोट देने का ऑप्शन खत्म करना चाहता है, जिसके लिए चुनाव आयोग ने कानून मंत्रालय को पत्र लिखकर प्रस्ताव रखा है। इसके जरिए चुनाव आयोग वोट का दुरुपयोग रोकना चाहता है।
 

voter-employees-will-also-not-be-able-to-vote-through-postal-ballot-now-election-commission-proposed-to-abolish.jpg

Voter employees will also not be able to vote through postal ballot now! Election commission proposed to abolish

अब जल्द ही मतदान कराने वाले कर्मचारियों के पास पोस्टल बैलेट के जरिए वोट डालने की सुविधा नहीं मिलेगी। दरअसल चुनाव आयोग ने कानून मंत्रालय को पत्र लिखकर प्रस्ताव दिया है कि चुनाव कराने वाले कर्मचारियों को पोस्टल बैलेट के जरिए वोट डालने की सुविधा खत्म की जाए। इसकी जगह कर्मचारियों के लिए लिए अलग से मतदाता सुविधा केंद्रों को स्थापित किया जाए, जिसमें सभी मतदान कराने वाले कर्मचारियों को वोट डालने की सुविधा दी जाए। चुनाव आयोग का कहना है कि इस प्रक्रिया के जरिए पोस्टल बैलेट वाले वोटों के दुरुपयोग की संभावना को कम किया जा सकता है।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार और चुनाव आयुक्त अनूप चंद्र पांडेयने 16 सितंबर को एक बैठक के दौरान कानून मंत्रालय को यह सिफारिश भेजने का फैसला किया कि चुनाव ड्यूटी पर लगे मतदाता सुविधा केंद्रों पर ही वोट करें। इसके लिए चुनाव आयोग चुनाव आचरण नियम 1961 के नियम 18 में संशोधन करने का प्रस्ताव रखा है।
 
डाक के माध्यम से मतगणना से पहले पोस्टल बैलेट भेजने का होता है ऑप्सन
वर्तमान नियम के अनुसार रिटर्निंग अधिकारी प्रशिक्षण के समय पोस्टल बैलेट जारी कर सकते हैं और मतदान ड्यूटी पर तैनात कर्मचारियों के लिए सुविधा केंद्र भी स्थापित कर सकते हैं ताकि वे आवंटित मतदान केंद्रों के लिए भेजे जाने से पहले अपना वोट डाल सकें। हालांकि चुनाव ड्यूटी पर लगे मतदाताओं के पास यह भी विकल्प होता है कि वे अपना पोस्टल बैलेट “डाक के माध्यम से रिटर्निंग ऑफिसर को भेज सकते हैं ताकि मतगणना शुरू होने के लिए निर्धारित समय से पहले यानी मतगणना के दिन सुबह 8 बजे से पहले रिटर्निंग ऑफिसर तक पहुंच सकें।”
 
डाक मतपत्रों को अपने घरों में रखते हैं कर्मचारी
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार चुनाव आयोग ने भेजे हुए प्रस्ताव में बताया है कि पिछले चुनावों में यह देखा गया है कि कई मतदान कराने वाले कर्मचारी डाक के माध्यम से अपने वोट को भेजने का विकल्प चुनते हैं, जिसमें वह अपने ड्यूटी के कर्तव्यों को पूरा करने के बाद भी लंबे समय तक डाक मतपत्रों को अपने घरों में रखते हैं। मतदान कर्मचारियों के पास मतगणना के दिन सुबह 8 बजे तक अपना डाक मतपत्र रिटर्निंग अधिकारी के पास भेजने का विकल्प होता है, भले ही उनके निर्वाचन क्षेत्र में मतदान पहले चरण में हुआ हो।
मतपत्र साथ रखने से दुरुपयोग की होती है संभावना
चुनाव आयोग का प्रस्ताव में कहा है कि चुनाव ड्यूटी के दौरान लंबे समय तक मतपत्र को अपने साथ रखने से दुरुपयोग की संभावना बढ़ जाती है। कर्मचारियों के मतदान पर उम्मीदवारों या राजनीतिक पार्टियों के अनुचित प्रभाव, धमकियों, रिश्वत सहित अन्य अनैतिक साधनों का प्रभाव पड़ने की संभावना होती है, जिसको पोस्टल बैलेट के जरिए वोट देने का ऑप्सन खत्म करके कम किया जा सकता है।
 
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो