scriptनकली शराब बनाने का मास्टर माइंड निकला भागीरथ कुमावत | Bhagirath Kumawat turns out to be the mastermind of fake liquor | Patrika News

नकली शराब बनाने का मास्टर माइंड निकला भागीरथ कुमावत

locationनीमचPublished: May 02, 2021 07:58:07 pm

Submitted by:

Virendra Rathod

– जीरन पुलिस को आरोपी सुरेंद्र सिंह ने पूछताछ में उगले कई राज

नकली शराब बनाने का मास्टर माइंड निकला भागीरथ कुमावत

नकली शराब बनाने का मास्टर माइंड निकला भागीरथ कुमावत

नीमच। जिले में गत दिनों पकडी गई अवैध शराब के मामले में जिला पुलिस अधीक्षक सूरज कुमार वर्मा के निर्देशन में पुलिस टीम ने एक के बाद एक परत खोलते हुए राजस्थान में बनने वाली नकली शराब का पर्दाफाश कर अब मुख्य आरोपी तक का नाम उगलवा लिया है। जल्द ही आरोपी भी गिरफ्तार होगा। अब तक पहले ब्लैकिए, बिचौलिए और दलाल और छोटे प्यादें ही पकडा रहे थे, मुख्य सरगना बच निकलता था, लेकिन नकली शराब बनाने वाले माफियाओं पर एसपी वर्मा के नेतृत्व में इनके खिलाफ शिकंजा कसना शुरू कर दिया है।

उल्लेखनीय है कि 100 पेटी अवैध शराब के मामले में जीरन पुलिस प्रोडक्शन वारंट के जरिए आरोपी सुरेंद्रसिंह झाला निवासी मंडावरा थाना अरनोद को प्रतापगढ जेल से पूछताछ के दौरान 30 अप्रैल को जीरन लाई। यह आरोपी नकली शराब फैक्टरी संचालित करने के मामले में जेल में बंद था। आरोपी को कोर्ट पेश किया गया, जहां से एक दिन का पुलिस रिमांड न्यायालय ने स्वीकृत किया। पूछताछ के दौरान आरोपी सुरेंद्रसिंह ने कई राज उगले है। भागीरथ कुमावत निवासी सोनपुर सहित कई लोग मिलकर हरियाणा, राजस्थान, मध्यप्रदेश और गुजरात में नकली शराब बनाकर खपाते थे। हाई रेंज से लेकर मिडियम रेंज की हर प्रकार की नकली अंग्रेजी शराब बना देते थे। नकली शराब बनाने और खपाने का व्यापक रूप से काम करते थे। इनके कनेक्शन बडे शहरों से लेकर गांव—गांव तक फैले हुए है। यह गिरोह करीब 10 साल से चल रहा है। राजस्थान में इनकी तगडी सांठगांठ होने के कारण यह काम फल—फूल रहा था, दूर—दराज थाने में अगर इक्के—दुक्के नकली शराब बेचने के मामले पकडाते भी थे तो भागीरथ कुमावत और अन्य उसके साथी जोड—तोड कर ये खुद बच निकले थे। आरोपी सुरेंद्रसिंह ने पूछताछ के दौरान यह भी कबूल किया कि इस गिरोह में कई लोग शामिल है, पूरा एक सेंडिकेट चलता है। इसमें मंदसौर, प्रतापगढ, उदयपुर, इंदौर, अहमदाबाद, सूरज सहित कई ऐसे बडे जिले है, जहां पर ये नकली शराब व्यापक पैमाने पर खपाते थे। नकली ढक्कन, होलोग्राम, लेबल सभी की ऐसी बनावट रहती है कि हर कोई यकीन कर लेंवे कि शराब असली है। नकली देशी शराब को तो यह चंद मिनटो में ही बना देते और ग्रामीण क्षेत्रों में सप्लाई करते है। आरोपी सुरेंद्रसिंह से पूछताछ के बाद एक मई को उसे जेल भेज दिया गया, वहीं उससे पूछताछ के दौरान मिली महत्वपूर्ण जानकारियों के आधार पर पुलिस शराब तस्करों की तलाश में जुट गई है।

मंदसौर जिले के ये शराब तस्कर हाईवे के ढाबों पर खपाते थे नकली शराब
बताया जा रहा है कि मंदसौर जिले के कुछ शराब तस्करों के नाम सामने आए है, पुलिस उनकी तलाश में जुटी हुई है। पिपलियामंडी थाना क्षेत्र निवासी महेश कलाल, होटल महामाया वाला टोल ,मंदसौर जिले के भावगढ थाना क्षेत्र के ग्राम दंदौडा निवासी गिरूँ बन्ना ,गिरिराजसिंह, धमेंद्रसिंह के जिम्मे शराब फैक्टरी से तैयार हुई नकली शराब महू—नीमच हाईवे के किनारे स्थित ढाबों पर शराब सप्लाई का काम था। इनका एरिया रतलाम, जावरा, मंदसौर, निम्बाहेडा तक रहता था। और भी इस गिरोह में शामिल है, जिनकी तलाश जीरन पुलिस कर रही है।

नीमच पुलिस ने राजस्थान में घुसकर की थी सर्जिकल स्ट्राईक
30 मार्च को जीरन पुलिस ने भडक सनावदा—चीताखेडा रोड पर पिकअप क्रमांक आरजे 09 जीसी 4048 को नाकेबंदी के दौरान पकडा था, तलाशी लेने पर करीब 100 पेटी अवैध शराब मिली, मौके से वाहन चालक कमलेश मीणा को गिरफ्तार किया था। आरोपी कमलेश ने पूछताछ में बताया कि 100 पेटी नकली शराब मंडावरा गांव में संचालित हो रही फैक्टरी से लाया था। जीरन पुलिस ने तुरंत मामले में एक्शन लिया और प्रतापगढ एसपी को सूचना दी और राजस्थान पुलिस की मदद से उक्त शराब फैक्टरी पर दबिश दी थी, 50 पेटी नकली शराब, 500 पव्वे, नकली होलोग्राम, आरओ प्लांट,स्प्रीट की खाली केन सहित नकली शराब बनाने के तमाम उपकरण मिले थे। पुलिस ने मौके से आरोपी सरेंद्रसिंह पिता गणपतसिंह को गिरफ्तार किया था।

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