scriptपुलिस आरक्षक ने राहत कोष में दिया अपना वेतन | Police constable paid his salary in relief fund | Patrika News

पुलिस आरक्षक ने राहत कोष में दिया अपना वेतन

locationनीमचPublished: Mar 27, 2020 02:09:07 pm

Submitted by:

Virendra Rathod

– गरीबो की मदद के साथ सरकार के लिए भी आगें आएं लोग

पुलिस आरक्षक ने राहत कोष में दिया अपना वेतन

पुलिस आरक्षक ने राहत कोष में दिया अपना वेतन

नीमच/मनासा। मनासा थाने में पदस्थ 2013 की बेच के आरक्षक राकेश मीणा ने अपने 15 दिन का वेतन मुख्यमंत्री राहत कोष में देने की घोषणा की। मीणा ने अपना वेतन देकर एक पहल की शरुआत की। मूलत: कालूखेड़ा के रहने वाले राकेश मीणा वर्तमान में मनासा थाने पर आरक्षक पद पर पदस्थ हैं। जो कोरोना जैसी माहमारी में लॉक डाउन के दौरान अपने परिवार से दूर रह कर अपनी ड्यूटी तो मुस्तैदी के साथ कर ही रहे है। साथ ही उन्होंने राहत कोष में अपनी उपस्तिथि दर्ज करा कर एक सकारात्मक पहल की शुरुआत की हैं। राकेश मीणा द्वारा 15 दिन का वेतन मुख्यमंत्री राहत कोष में देने की घोषणा के बाद श्योशल मीडिया पर उनको धन्यवाद देने का तांता लग गया हैं।

मगर राकेश मिणा की इस उदारता के बाद जिले कई बड़े अधिकारी नेता और समाज सेवियों की चुप्पी पर सवाल खड़े हो गए। जब एक आरक्षक इस संकट की घड़ी को समझ सकता है तो हम क्यों नही। वर्तमान दौर मानव जाति के लिए संकट भरा गुजर रहा हैं। जिसमें इंसानों को ही भगवान बन कर आगे आना होगा। अभी तक शाश्त्रो में हमने पढ़ा था की भगवान इंसान के रूप में ही आकर मदद करता हैं। यह वही समय है जब इन्सान को भगवान बन कर खुद की मदद करना हैं। वर्तमान समय में हमारी सरकार आर्थिक स्तिथि भी ठीक नहीं है यह बात हम सब समझते है ऐसे में गाँव शहर में गरीब के लिए दो वक्त की रोटी के साथ आने वाली मुसिबत से निपटने के लिए हमे हमारी सरकार के साथ भी खड़े होने की आवश्यकता है।

गरीबो की मदद के साथ बने सरकार का सहारा
शहर में जितने अमीर है, उतने गरीब नहीं, ऐसे में एक अमीर ही गरीबों को कुछ दिन रोटी मुहैया करा सकता हैं। मगर सरकार का मददगार कोन जिले में कई अधिकारी कर्मचारी और जन प्रतिनिधि है, जो सरकार के दम पर ही अपना रसूख बताते हैं। ऐसे में वही सरकार अपनी जनता के साथ मुश्किल के दौर से गुजर रही है ईश्वर न करे की हालात अधिक भयावह हो उससे पहले हमे सरकार की मदद के लिए भी आगे आना होगा। जब पुलिस का एक कर्मचारी इतना कर सकता है तो फिर हमारे बड़े बड़े अधिकारी, व्यापारी और जन प्रतिनिधियों की चुप्पी क्यों आइये हम सरकार को और प्रदेश की जनता को इस संकट से उभरने के लिए सरकार को आर्थिक रूप से मझबूत करे।

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