गांधी जी के अलावा देश के एक अन्य महान नेता एवं देश के दूसरे प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री का भी जन्मदिवस है। जय जवान जय किसान का नारा देने वाले देश के दूसरे प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री का नाम देश के राजनीतिक इतिहास में एक सादगी पूर्ण राजनेता के रूप में लिया जाता है। 1964 में प्रधानमंत्री बनने वाले शास्त्री का जन्म 2 अक्टूबर 1904 को हुआ था। करीब डेढ़ साल तक प्रधानमंत्री रहे शास्त्री की मृत्यु 11 जनवरी 1966 को रूस के ताशकंद में हर्टअटैक से हुई थी।
राष्ट्रपति कोविंद ने की स्वच्छता की अपील
सफाई को राष्ट्रीय आंदोलन बनाने का आग्रह करते हुए राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने रविवार को कहा कि स्वच्छ भारत के लक्ष्य को हासिल करना महात्मा गांधी को सच्ची श्रद्धांजलि होगी। राष्ट्रपति कोविंद वर्तमान में महाराष्ट्र के आधिकारिक दौरे पर हैं। कोविंद राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की जयंती पर गुजरात का दौरा करेंगे और राष्ट्रपिता को श्रद्धांजलि देंगे।
सफाई को राष्ट्रीय आंदोलन बनाने का आग्रह करते हुए राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने रविवार को कहा कि स्वच्छ भारत के लक्ष्य को हासिल करना महात्मा गांधी को सच्ची श्रद्धांजलि होगी। राष्ट्रपति कोविंद वर्तमान में महाराष्ट्र के आधिकारिक दौरे पर हैं। कोविंद राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की जयंती पर गुजरात का दौरा करेंगे और राष्ट्रपिता को श्रद्धांजलि देंगे।
गांधी जयंती की पूर्व संध्या पर राष्ट्रपति ने कहा कि गांधी जयंती महात्मा गांधी के आदर्शो व मूल्यों के प्रति समर्पण का एक अवसर है। महात्मा गांधी का मानना था कि ‘स्वच्छता ईश्वर की पूजा की तरह है।
उन्होंने कहा कि सफाई सिर्फ सरकारी विभागों व सफाई कर्मियों की जिम्मेदारी नहीं है। भारत आज स्वच्छता ही सेवा अभियान के जरिए स्वच्छता की एक निर्णायक लड़ाई लड़ रहा है। उन्होंने कहा कि आइए हम सार्वजनिक स्वच्छता, निजी स्वच्छता व पर्यावरण स्वच्छता की अपनी प्रतिबद्धता सुनिश्चित करें। यह बहु हितधारक राष्ट्रीय आंदोलन है। स्वच्छ भारत मिशन के लक्ष्यों को शीघ्रता से हासिल करना गांधी जी की जयंती पर उन्हें सच्ची श्रद्धांजलि होगी।
कोविंद ने कहा कि महात्मा गांधी सरल जीवन में विश्वास रखते थे। गांधी जी को नैतिक शिक्षक बताते हुए कोविंद ने कहा कि उन्होंने अपने नेतृत्व से देश को एक नई दिशा दी। उन्होंने कहा कि अहिंसा व शांति के सह अस्तित्व के उनके दर्शन की प्रासंगिकता मौजूदा समय में बढ़ी है। चक्र, चरखा व खादी चिन्ह के जरिए उन्होंने आत्म निर्भरता व श्रम की गरिमा पर जोर दिया। राष्ट्रपति कोविंद महात्मा गांधी के जन्म स्थान पोरबंदर के कीर्ति मंदिर में उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करने के बाद गुजरात के अपने कार्यक्रमों की शुरुआत करेंगे।