scriptस्वच्छता सर्वेक्षण: पहली बार तीसरे पायदान पर आया महू, अब सिरमौर बनना बाकी | Cleanliness Survey: Mhow came third for the first time, now Sirmaur i | Patrika News

स्वच्छता सर्वेक्षण: पहली बार तीसरे पायदान पर आया महू, अब सिरमौर बनना बाकी

Published: Oct 02, 2022 12:22:41 am

Submitted by:

Shailendra shirsath

-अफसर से लेकर कर्मचारियों की मेहनत रंग लाई-गत वर्ष देशभर की 62 छावनी परिषद में मिला था छटवां स्थान

स्वच्छता सर्वेक्षण: पहली बार तीसरे पायदान पर आया महू, अब सिरमौर बनना बाकी

स्वच्छता सर्वेक्षण: पहली बार तीसरे पायदान पर आया महू, अब सिरमौर बनना बाकी


महू. स्वच्छ भारत अभियान में इस बार देशभर की छावनी परिषद में महू छावनी परिषद को तीसरे स्थान मिला है। गत वर्ष महू स्वच्छता सर्वेक्षण में छटे स्थान पर था। शनिवार शाम को घोषणा होते ही पूरे शहर में खुशी का महौल शुरू हो गया। शनिवार को दिल्ली में आयोजित हुए अवार्ड कार्यक्रम में छावनी परिषद सीइओ राजेंद्र जगताप, स्वास्थ्य निरीक्षक मनीष अग्रवाल व अन्य को केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने अवार्ड देकर सम्मानित किया।
इस बार स्वच्छता सर्वेक्षण में देशभर की 62 छावनी परिषद में पहला स्थान पर अहमद नगर, दूसरे स्थान पर अहमदाबाद और तीसरा स्थान महू छावनी परिषद को मिला है। हालांकि तीनों परिषद के अंक में ज्यादा अंतर नहीं है। इस बार स्वच्छता सर्वेक्षण के लिए सालभर में छावनी परिषद का स्वास्थ्य विभाग दिन-रात मेहनत में लगा रहा। 165 सफाई कर्मचारी दिन में दो-दो बार सफाई करते रहे। शहर से गीला और सूखा कचरा लेने के लिए 8 कचरा वाहन डोर-टू-डोर कचरा कलेक्शन किया जा रहा है। शहर को स्वच्छ और सुंदर बनाने के लिए गार्डन में स्क्रैप से साइकिल के आकर की आकृतियां लगाई गई। चौराहों पर वेस्ट से बने गमले लगाकर सौंदर्यीकरण किया गया। इसके साथ ही दिवारों पर मनमोहक पेंटिग बनाई गई। डीएसओआई चौराहे पर आई लव महू का सेल्फी पांइट बनाया गया। पब्लिक यूरिनल में बदबू न आए इसलिए एक्जास फैन लगाए गए। अफसर भी सुबह से शाम तक कर्मचारियों के काम पर निगरानी करते रहे।
33 से आए तीसरे नंबर पर
स्वच्छता सर्वेक्षण में सबसे पहले छावनी परिषद 62 परिषद में 33वें स्थान पर था। इसके बाद 22, फिर 11, फिर 07 और गत वर्ष छटे स्थान पर था। लेकिन इस बार तीसरा स्थान मिला है।
इस कारण आए तीसरे नंबर पर
-शहर की दिवारों पर पेंटिंग व सौंदर्यीकरण किया गया।
-हेशटेक महू, वेस्ट सेे गमले चौराहे पर स्थापित किए।
-आइ लव महू सेल्फी पाइंट, नेकी की दिवार, पुस्तक बैंक आदि शुरू की।
-ओडीएफ प्लस प्लस हुए।
-पब्लिक को अवेयर किया।
-एफएसटीपी व इटीपी प्लांट शुरू किए।
-स्ट्रीट लाइन एलइडी रोशनी से लेस किया।
-नाले पर जालियां लगाकर कर सौंदर्यीकरण किया गया।
इसलिए नहीं बन पाए स्वच्छता का सिरमौर
-बेहतर संख्या में पब्लिक फीडबैक नहीं दिया गया।
-लोगों द्वारा गीले-सूखे कचरे को अलग-अलग न करना।
-कचरे का निपटान पूरी तरह से नहीं हुआ।
-शहर में आवारा पशुओं को बाहर नहीं कर पाए।
-अंडरग्राउंड डे्रनेज सिस्टम मूर्त रूप नहीं ले पाया।
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो