रघुराज सिंह के पोस्ट के बाद मचा बवाल- दरअसल शनिवार की रात डॉ. अरविंद सिंह चौहान को पार्टी का उम्मीदवार घोषित होने के बाद एक वरिष्ठ नेता रघुराज सिंह ने अपने फेसबुक पर एक पोस्ट कर तहलका मचा दिया। उन्होंने यहां तक कहा कि पार्टी ने टिकट बेच दिया है। उन्होंने तो सीधा कांग्रेस के महासचिव और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के प्रभारी ज्योदिरादित्य सिंधिया, प्रदेश अध्यक्ष राज बब्बर और राणा गोस्वामी पर ही निशाना साध दिया। रघुराज सिंह के अलावा भी कई ऐसे नेता हैं, जिन्हें अरविंद सिंह को प्रत्याशी बनाना नागवार गुजर रहा है। पार्टी के इस फैसले से वे बेहद खफा हैं। बातचीत के दौरान रघुराज सिंह ने कहा कि पार्टी को पब्लिक डोमिन पर बताना पड़ेगा कि किस आधार पर डॉ. अरविंद सिंह को प्रत्याशी बनाया गया है। उन्होंने कहा कि सपा-बसपा और कांग्रेस भाजपा के पैरोल पर हैं। पार्टी को बताना चाहिए कि उनकी आडियोलॉजी क्या है। इस फैसले से वे लोग भी खासे नाराज हैं, जिन्होंने टिकट की दावेदारी पेश की थी।
कांग्रेस नेता को मनाने घर पुहंचे थे- वहीं कांग्रेस के जिलाध्याक्ष डॉ. महेंद्र नागर ने माना कि संगठन में नाराजगी है, लेकिन उन्होंने यह भी कहा कि यह तो आलाकमान का फैसला है और अब नाराजगी का कोई मतलब नहीं है। हम मिलकर चुनाव लड़ाएंगे। उन्होंने बताया कि 19 मार्च को जिला कार्यालय पर जिले के सभी मुख्या कार्यकर्ताओं की बैठक होगी। उसमें नाराजगी दूर करने के साथ ही मिलकर चुनाव लड़ाने की रणनीति बनाई जाएगी। पार्टी के वरिष्ठ नेता कृपाराम शर्मा भी नाराज थे। इस बात की जानकारी होते ही प्रत्याशी डॉ. अरविंद सिंह रविवार को उनके आवास पर गए। उनसे सहयोग और समर्थन मांगा। बाद में कृपाराम शर्मा ने उन्हें पूरा सहयोग देने का भरोसा दिया। कृपाराम शर्मा ने कहा कि डॉ. अरविंद सिंह उनके घर आए थे, और घर आया व्यक्ति ईश्वर की तरह होता है। उनके मन में कोई गिला नहीं है। वह तन और मन से उनका समर्थन करेंगे। उन्होंने कहा कि उनकी कोशिश है कि सांप्रदायिक ताक़तों को परास्त कर अपने प्रत्याशी को लोकसभा भेजें।
स्थानीय कार्यकर्ताओं ने किया विरोध- आपको बता दें कि जानकारी के मुताबिक कांग्रेस ने टिकट देने से पहले अपने नेताओं को यहां भेजकर प्रत्याशी के बारे में जानकारी ली। समीक्षा की और स्थानीय नेताओं की राय जानी। तब स्थानीय नेताओं ने साफ कह दिया था कि यहां बाहर से आए प्रत्याशी मंज़ूर नहीं होगा। उनका कहना था कि वे संगठन के लिए सालों साल काम करते हैं और जब चुनाव का वक्त आता है तो बाहरी प्रत्याशी उन पर थोप दिया जाता है। इससे उनका हौसला टूट जाता है।
युवा जोश से मिलेगी जीत- उधर टिकट मिलने पर कांग्रेस के युवा प्रत्याशी डॉ. अरविंद सिंह चौहान ने कहा कि वह खुद भी युवा हैं और युवा जोश से ही उन्हें जीत मिलेगी। मुद्दों के बाबत उन्होंने कहा कि बेरोजगारी, महिला सुरक्षा, वेस्ट मैनेजमेंट और प्रदूषण मुख्य मुद्दे होंगे। गौतमबुद्ध नगर में ही लगभग 2.5 लाख बी.टेक, एमबीए और दूसरे शिक्षित युवा बेरोजगार हैं। डॉ. अरविंद सिंह ने कहा कि उनका लक्ष्य 35 वर्ष से कम उम्र के नौजवानों की समस्याओं को प्राथमिकता के आधार पर दूर करना उनका लक्ष्य होगा। बहरहाल, टिकट की दावेदारी कर रहे लोगों के अलावा भी पार्टी संगठन के लोगों के मन में पीड़ा है। टिकट न मिलने की टीस भी। जुबां से वे भले ही सहयोग और समर्थन की बात कर रहे हैं, लेकिन अगर दिल से दुआएं नहीं निकलीं तो इसमें कोई शक नहीं कि डॉ. अरविंद सिंह के लिए राह आसान नहीं होगी।