उल्लेखनीय है कि पीपीपी मॉडल पर बनने वाले नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट (Noida International Airport) का निर्माण स्विस कंपनी ज्यूरिख इंटरनेशनल एयरपोर्ट करेगी। पहले चरण में एक रनवे के लिए 1334 हेक्टेयर जमीन पर निर्माण कार्य किया जाएगा। जिला प्रशासन ने छह गांवों की भूमि अधिग्रहित कर निर्माणी कंपनी को सौंप दी है। फिलहाल कंपनी भूमि को समतल करने और चारदीवारी करने का कार्य कर रही है। जिला प्रशासन ने पहले चरण के लिए बनवारीवास, रन्हेरा, रोही, दयानतपुर, पारोही, और किशोरपुर की जमीन का नए कानून के तहत अधिग्रहण किया है। इस परियोजना से करीब तीन हजार परिवार प्रभावित हुए हैं। विस्थापित परिवारों को जेवर बांगर क्षेत्र में भूखंड देकर बसाया है। जेवर बांगर को शहरी तर्ज पर बसाया गया है। यमुना प्राधिकरण द्वारा बसाई गई टाउनशिप में सभी सुविधाएं दी गई हैं।
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मोदी व योगी को बम से उड़ाने की धमकी, दीपक शर्मा की तलाश में पुलिस यूपी चुनाव में फायदा उठाने का प्रयास पहले ही कयास लगाए जा रहे थे कि भाजपा सरकार यूपी विधानसभा चुनाव की घोषणा होने से पहले ही नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट का शिलान्यास करके चुनावी बढ़त बनाने का प्रयास करेगी। जिस तरह से विपक्षी दलों ने फिलहाल किसानों और महंगाई के मुद्दे को लेकर सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल रखा है। उसी तरह भाजपा सरकार नोएडा इंटरनेशनल एयपोर्ट का शिलान्यास कर रोजगार के अवसर खुलने का मुद्दा उठाकर जनता को लुभाने का प्रयास करेगी। क्योंकि यह स्पष्ट है कि एयरपोर्ट बनने के बाद वेस्ट यूपी में व्यापार और उद्योगों को बड़ा फायदा होगा। लॉजिस्टिक सुविधाओं के साथ उद्योगों को बढ़ावा मिलेगा।
साढ़े पांच लाख लोगों को मिलेगा रोजगार नोएडा एयरपोर्ट बनने पर करीब साढ़े पांच लाख लोगों को रोजगार मिलेगा। इसके साथ ही इस एयरपोर्ट पर देश में सबसे अच्छी ट्रांसपोर्ट कनेक्टिविटी होगी। मेट्रो, पॉड टैक्सी के साथ कई राज्यों को जोड़ने वाली बुलेट ट्रेन यात्रा को आसान बनाएंगे। दिल्ली, हरियाणा और राजस्थान के साथ अन्य जिलों के लोगों को आवागमन में आसानी होगी। एयरपोर्ट बनने से जेवर के साथ ही दनकौर, बुलंदशहर जैसे शहरों का विस्तार होगा। दूसरे चरण में कार्गो सुविधा मिलने पर उद्योगों को आयात-निर्यात में लाभ मिलेगा। बता दें कि परियोजना में छह रनवे बनेंगे, जिनमें से चार यात्रियों के लिए तो दो रनवे कार्गो के लिए होंगे।