यमुना एक्सप्रेस-वे के किनारे बसेंगे 5-5 लाख आबादी वाले तीन नए शहर, अंतरराष्ट्रीय स्तर की सुविधाओं से होंगे लैस
Highlights
- अलीगढ़, मथुरा और आगरा में बसेंगे तीन नए स्मार्ट सिटी
- तीनों शहरों में होगा पांच-पांच लाख लोगों के रहने का इंतजाम
- बिजली-पानी और सीवर के मामलों में आत्मनिर्भर होंगे तीनों शहर

पत्रिका न्यूज नेटवर्क
नोएडा. योगी सरकार यमुना एक्सप्रेसवे (Yamuna Expressway) के किनारे तीन अत्याधुनिक स्मार्ट शहर (Smart City) बसाने जा रही है। इसके लिए यमुना एक्सप्रेसवे प्राधिकरण (Yamuna Expressway Authority) विस्तृत योजना तैयार करवा रहा है। बताया जा रहा है कि अलीगढ़ (Aligarh), मथुरा (Mathura) और आगरा (Agra) में यमुना एक्सप्रेसवे के किनारे बनने वाले इन शहरों में पांच-पांच लाख लोगों की आबादी होगी, जिन्हें रहने के लिए सभी मूलभूत सुविधाएं मुहैया कराई जाएंगी। तीनों शहर बिजली-पानी और सीवर के मामलों में आत्मनिर्भर होंगे। इसके अलावा इन शहरों में सड़क यातायात, सुरक्षा और इंटरनेट कनेक्टिविटी अंतरराष्ट्रीय मानकों के आधार पर होगी।
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यमुना एक्सप्रेसवे प्राधिकरण के अनुसार, डेवलपमेंट अथॉरिटी गौतमबुद्धनगर (Gautambudh Nagar) जिले से आगे अलीगढ़, मथुरा और आगरा तक अपनी विकास योजनाओं का विस्तार करना चाहता है। बताया जा रहा है कि प्राधिकरण इस योजना को दो हिस्सों में लागू करेगा। आवासीय सुविधाएं और औद्योगिक विकास ये दोनों योजनाएं सामान्य रूप से कार्य करेंगी। आवासीय सुविधाओं के तहत अलीगढ़, मथुरा और आगरा का विकास होगा तो औद्योगिक विकास भी समान रूप से किया जाएगा। प्राधिकरण की योजना है कि वह जिन उद्योगों को भूमि उपलब्ध करा रहा है, उन्हें मूलभूत सुविधाएं भी दी जाएं।
बता दें कि प्राधिकरण मथुरा के राया क्षेत्र में न्यू वृंदावन के नाम से एक आधुनिक सिटी बसाएगा। वहीं दूसरा शहर अलीगढ़ में टप्पल के पास तो तीसरा आगरा में विकसित किया जाएगा। बताया जा रहा है कि तीनों ही शहरों में मूलभूत सुविधाओं और आधारभूत ढांचे को पांच-पांच लाख लोगों के रहने के हिसाब से विकसित किया जाएगा। यमुना विकास प्राधिकरण के सीईओ डॉ. अरुणवीर सिंह ने बताया कि पहले चरण में मथुरा के राया क्षेत्र में न्यू वृंदावन सिटी की योजना पर कार्य शुरू कर दिया गया है। वहीं, अलीगढ़ के टप्पल में औद्योगिक गतिविधियां भी पहले ही शुरू की जानी हैं। यमुना एक्सप्रेसवे के किनारे बसने वाले तीनों शहर अत्याधुनिकता के साथ पर्यावरण संरक्षण और देश की संस्कृति के अनुरूप होंगे।
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तीनों शहरों में होंगे पांच विशेषता
1. स्मार्ट सड़क यातायात
यमुना एक्सप्रेसवे के किनारे बसने वाले तीनों शहरों में स्मार्ट सड़क यातायात प्रबंधन होगा। सार्वजनिक परिवहन और निजी वाहनों के लिए सड़कों पर अलग-अलग व्यवस्था रहेगी। तीनों शहरों में ट्रैफिक सिग्नल नहीं होंगे, ताकि प्रदूषण कम फैले।
2. बिजली में आत्मनिर्भरता का प्रयास
शहरों में सौर ऊर्जा के इस्तेमाल पर अधिक जोर दिया जाएगा। सभी सार्वजनिक स्थलाें पर सौर ऊर्जा ही इस्तेमाल होगी। इसके साथ ही शहर के लोगों को भी कम से कम 50 फीसदी सौर ऊर्जा के लिए प्रेरित किया जाएगा।
3. नदियों में नहीं डाला जाएगा सीवर का पानी
तीनों आधुनिक शहरों से निकलने वाला सीवर का गंदा पानी नदियों में न डालकर शहर में ही डिस्चार्ज होगा। उस पानी को रिसाइक्लिंग के बाद बागवानी और उद्यान की सिंचाई में उपयोग किया जा सकेगा।
4. रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगेंगे
रोजमर्रा की जरूरत के लिए भूगर्भ जल या अन्य जल स्रोतों का इस्तेमाल होगा। बारिश के पानी को रिचार्ज करने के लिए निजी और सार्वजनिक भवनों में रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगाए जाएंगे।
5. पर्यावरण संरक्षण पर विशेष जोर
एक्सप्रेसवे किनारे बनने वाले तीनों शहरों में पर्यावरण संरक्षण पर विशेष जोर दिया जाएगा। न्यू वृंदावन सिटी में भगवान श्रीकृष्ण की प्रेरणाओं को परिलक्षित किया जाएगा।
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