रूस की संघीय दंडात्मक सेवा की इस चेतावनी के बावजूद कि रूस लौटने पर उन्हें जेल जाना पड़ेगा, नवेलनी और उनकी पत्नी यूलिया 17 जनवरी को मास्को पहुंचे। उनकी गिरफ्तारी की आशंका हर एक को थी। जेल में रहते हुए भी उन्होंने पुतिन के खिलाफ संघर्ष जारी रखा। मंगलवार को उनकी टीम ने काला सागर पर एक विशाल महल के निर्माण में भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए पुतिन के खिलाफ ड्रोन फुटेज के साथ एक वीडियो पोस्ट किया। इस वीडियो को सात करोड़ से अधिक बार देखा गया है। इससे पुतिन के शासन में अपराधों का खुलासा हुआ है। नवेलनी ने शनिवार को एक दिन के प्रदर्शन का आह्वान किया और ठंड के मौसम में भी बड़ी संख्या में लोग सड़कों पर उतर आए।
अकेले मास्को में ही चालीस हजार लोग सड़कों पर थे। यह प्रदर्शन केवल मास्को और सेंट पीटर्सबर्ग में ही नहीं हुए, बल्कि दो महाद्वीपों में फैले सत्तर शहरों में हुए। इंटरनेट पर पुलिस के दमनचक्र को लेकर वीडियो क्लिप्स की भरमार है। मास्को में फाइनेंशियल एक्सप्रेस के संवाददाता मैक्स सैडोन ने लिखा कि नवेलनी ने अपनी आजादी का त्याग कर रूस में आजादी के लिए ताकतवर प्रहार किया। नवेलनी की गिरफ्तारी और बाद में प्रदर्शनकारियों पर पुलिस कार्रवाई से बाइडन प्रशासन के सामने विदेश नीति को लेकर पहला संकट पैदा हुआ है।
नए राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवान ने नवेलनी की रिहाई के लिए ट्वीट किया। पश्चिम के देशों में पुतिन के चार प्रबल विरोधियों ने प्रेस कांफ्रेंस कर रूसी प्रशासन पर आर्थिक प्रतिघात की मांग भी की। कहना होगा कि नवेलनी और उनके साथियों ने सीमित संसाधनों के बलबूते भ्रष्टाचार को उजागर करने का ऐतिहासिक काम किया है। विचार करना होगा कि अमरीकी सरकार इस संबंध में कितनी तत्परता दिखाती है। अब समय गंवाने का नहीं है। शुक्रवार को नवेलनी ने इंस्टाग्राम पोस्ट में आशंका जताई कि जेल में उनकी हत्या की जा सकती है। बाइडन प्रशासन को नवेलनी के जीवन की रक्षा के लिए कदम उठाना चाहिए ताकि रूस में आजादी की उम्मीद जिंदा रहे।
वॉशिंगटन पोस्ट