जिंदगी की हकीकत यही है। मृत्यु आपके जीवन की इकलौती ऐसी चीज है, जो निश्चित है। आपके जीवन में क्या होगा, क्या नहीं होगा, यह हम नहीं जानते। जीवन लगातार अनिश्चित है। मृत्यु सौ फीसदी निश्चित है। उसके बारे में कोई संदेह न करें। जीवन को लेकर आपको लाखों शंकाएं हो सकती हैं। ‘मैं अमीर बनूंगा या नहीं?’ ‘मैं शिक्षित हो पाऊंगा या नहीं? ‘मुझे ज्ञान मिलेगा या नहीं?’ सवालों की भरमार है। मृत्यु को लेकर कोई प्रश्न नहीं है। यह सौ फीसदी तय है। निश्चित की बजाय आप अनिश्चित पर भरोसा करते हैं। आध्यात्मिक प्रक्रिया तभी शुरू होती है, जब आप अपनी मृत्यु के बारे में जागरूक होना शुरू करते हैं।