चैंपियनशिप के आखिरी दिन भारत ने दो गोल्ड मेडल, एक सिल्वर मेडल और दो कांस्य पदक अपने खाते में दर्ज किए। जूनियर सेक्शन में पूर्णिमा पांडे ने 90+ किग्रा वर्ग में रजत पदक जीता, जबकि 105 किग्रा वर्ग में लवप्रीत सिंह ने 325 किग्रा (150 किग्रा स्नैच और 175 किग्रा क्लीन एंड जर्क) में उठाकर गोल्ड मेडल अपने नाम कर लिया। 105+किग्रा वर्ग में गुरदीप सिंह ने सीनियर सेक्शन का कांस्य पदक 171 किग्रा स्नैच के नए सीनियर राष्ट्रीय रिकॉर्ड के साथ जीता, जबकि इसी भार वर्ग में जूनियर सेक्शन का कांस्य पदक तेजपाल सिंह संधू ने क्लीन एंड जर्क में 178 किग्रा वजन से नया राष्ट्रीय रिकॉर्ड बनाकर जीता।
राहुल छा गए पूरी टूर्नामेंट में- भारत के आरवी राहुल इस पूरी चैंपियनशिप में छा गए। राहुल ने सीनियर और जूनियर वर्ग में बेस्ट लिफ्टर का खिताब अपने नाम किया, जबकि पूरी टूर्नामेंट में सीनियर और जूनियर वर्ग के कुल 15 रिकॉर्ड सुधार दिए। इनमें राहुल ने 6 नए जूनियर कॉमनवेल्थ रिकॉर्ड भी अपने नाम पर दर्ज करा लिए। भारत ने इस चैंपियनशिप की 6 में से 5 टीम ट्रॉफी भी अपने नाम की। भारत के खाते में सीनियर पुरुष, सीनियर महिला, जूनियर पुरुष, जूनियर महिला और यूथ गल्र्स वर्ग की टीम ट्रॉफियां आईं। इसके अलावा भारत की एस. मीराबाई चानू को सीनियर महिला वर्ग की बेस्ट लिफ्टर चुना गया, जबकि दीपक लाठर यूथ ब्वॉयज सेक्शन के बेस्ट लिफ्टर रहे। इस टूर्नामेंट के लिए चयन के दौरान आलोचकों का निशाना बनी चानू ने 48 किग्रा वर्ग में अपना ही 84 किग्रा स्नैच का सीनियर कॉमनवेल्थ रिकॉर्ड भी 1 किग्रा अधिक वजन उठाकर तोड़ते हुए सभी को चुप करा दिया।
भारत ने जीते कुल 42 पदक- भारतीय वेटलिफ्टिंग महासंघ के उपाध्यक्ष सहदेव यादव के अनुसारख् भारतीय दल के खाते में इस चैंपियनशिप से यूथ, जूनियर और सीनियर वर्ग में कुल मिलाकर 24 गोल्ड मेडल, 7 सिल्वर मेडल और 11 कांस्य पदक आए, जिनमें 14 पदक अकेले सीनियर वेटलिफ्टरों ने हासिल किए। यूथ वर्ग में 6-6 और जूनियर वर्ग में 8-8 पदक भारत के पुरुष व महिला वेटलिफ्टरों ने कब्जाए।