अधिकांश आतंकवादियों के रिश्तेदार
एनआईए के मुताबिक जांच में सामने आया है कि जो युवक छात्र वीजा पर पाकिस्तान गए हैं, उनमें से अधिकांश या तो आतंकवादियों या आतंकी संगठनों से वास्ता रखने वाले लोगों के नजदीकि हैं। इन युवाओं को वहां हुर्रियत नेता कहकर बुलाया जाता है। एनआईए की जांच में पता चला है कि ऐसे युवाओं को पाकिस्तान भेजने के लिए कई हुर्रियत नेता नई दिल्ली स्थित पाकिस्तानी उच्चायुक्त में सिफारिश भी करते हैं। ऐसे ही नेताओं में अलगाववादी हुर्रियत नेता सैयद अली शाह गिलानी का नाम भी जुड़ा है। 18 जनवरी को दाखिल एक चार्जशीट में खुलासा हुआ है कि पाकिस्तान में इन युवाओं को एमबीबीएस और इंजिनियरिंग की सीटें मुहैया कराई जाती हैं।
ऐसे हुआ खुलासा
दरअसल, राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने नईम खान के ठिकाने पर छापा मार वहां से कुछ ऐसे दस्तावेज जब्त किए थे, जिनमें पाकिस्तान स्थित एक मेडिकल कॉलेज में एक स्टूडेंट की एडमिशन की सिफारिश की गई थी। दस्तावेज में बताया गया था कि स्टूडेंट का परिवार कश्मीर में फ्रीडम के लिए संघर्ष कर रहा है। ऐसा ही एक अन्य दस्तावेज शाहिद-उल-इस्लाम के घर से भी मिला है, जिसमें एक हुर्रियत नेता पाक उच्चायोग से सिफारिश करते नजर आए हैं। आपको बता दें कि एनआईए ने नईम खान के घर से ऐसे दस्तावेज जब्त किए थे, जिसमें पाकिस्तान स्थित एक नामी मेडिकल कॉलेज में एक छात्रा के दाखिले की इस आधार पर सिफारिश की गई थी कि उसका परिवार कश्मीर में स्वतंत्रता संघर्ष के लिए हर तरह से प्रतिबद्ध है। एनआईए के अनुसार, इसी तरह का एक दस्तावेज शाहिद-उल-इस्लाम के घर से जब्त किया गया था, जिसमें हुर्रियत नेता वीजा जारी करने के लिए पाकिस्तानी उच्चायोग को सिफारिश भेज रहे थे।