scriptVIDEO : जवाई बांध की सुरक्षा भगवान भरोसे… | God trust protection of Jawai dam Pali | Patrika News

VIDEO : जवाई बांध की सुरक्षा भगवान भरोसे…

locationपालीPublished: May 29, 2020 04:36:08 pm

Submitted by:

Suresh Hemnani

-बांध तक पहुंचने वाली सडक़ जगह-जगह से क्षतिग्रस्त

VIDEO : जवाई बांध की सुरक्षा भगवान भरोसे...

VIDEO : जवाई बांध की सुरक्षा भगवान भरोसे…

पाली/सुमेरपुर। पश्चिम राजस्थान का मरू सागर कहे जाने वाला जवाईबांध को लेकर सरकार गंभीर नहीं है। बांध तक पहुंचने वाली सडक़ें जगह-जगह से क्षतिग्रस्त हैं। अंधेरा होने के बाद प्रवेश द्वार पर कोई रोकटोक नहीं होने से हर समय खतरा रहता है। बांध पर सीसीटीवी कैमरे नहीं होने से आत्महत्या के केस यहां बढ़ते जा रहे हैं।
जवाईबांध के मुख्य नहर की लम्बाई 23 किलोमीटर व 21 वितरिकाओं व माइनरों की लम्बाई 215 किलोमीटर है। इन नहरों के माध्यम से पाली जिले के 33 व जालोर जिले के 24 गांवों में स्थित कमाण्ड क्षेत्र की 38 हजार 671 हैक्टेयर भूमि में सिंचाई होती है। इसके अलावा जिले के 563 गांवों समेत 9 शहरों में पेयजल आपूर्ति होती है। बांध पर 13 गेट बने हुए हैं। गेट हाथ से, बिजली से और जेनरेटर से चलते हैं। बिजली नहीं होने की स्थिति में दो जनरेटर की सुविधा उपलब्ध है। प्रतिवर्ष बारिश के दौरान देशी पर्यटक घूमने आते हैं। विदेशी पक्षियों का जमावड़ा भी रहता हैं, लेकिन बांध की सुरक्षा को लेकर सरकार गंभीर नहीं रहती।
बढ रहे आत्महत्या के केस
यहां पहुंचने के लिए जवाईबांध स्टेशन से नियमित साधन नहीं है। स्वयं किराए पर वाहन लेकर पहुंचना पड़ता है। ये बांध पाली-जालोर जिले के लिए सिंचाई-पेयजल का प्रमुख स्रोत है। वहीं आसपास के क्षेत्र के लिए आत्महत्या का भी प्रमुख केन्द्र बन गया है। हर साल बांध में आत्महत्या वाले मामले सामने आते हैं। हवामहल वाले क्षेत्र में सर्वाधिक आत्महत्या होती है। इस क्षेत्र में सीसीटीवी कैमरे नहीं होने से अक्सर आत्महत्या व संदिग्ध मौत के मामले इसी क्षेत्र में होते हैं। कैमरे लगाने की प्रबुद्धजनों ने कई बार मांग उठाई।
सडक़ें जगह-जगह जार-जार
सुमेरपुर से जवाईबांध स्टेशन सडक़ मार्ग सही है। इसके बाद जगह-जगह उबड-खाबड़ होने से वाहन हिचकोले खाते हैं। बांध व हवामहल क्षेत्र तक पहुंचने वाला मार्ग पिछले एक साल से क्षतिग्रस्त हैं। वाहन चालकों को परेशानी का सामना करना पड़ता है।
बांध की सुरक्षा भगवान भरोसे
जवाईबांध तक पहुंचने के लिए मुख्य द्वार बना हुआ हैं। जिसके पास छोटा गेट है। पहले वहां एक कार्मिक नियुक्त रहता था। पूछताछ के बाद रजिस्टर में नाम पता अंकित करने के बाद ही प्रवेश दिया जाता था, लेकिन अब कोई भी व्यक्ति सीधा अंदर प्रवेश कर जाता हैं। कभी भी बड़ा हादसा हो सकता है।
अधिकारी ने बताया
बांध की सुरक्षा जरूरी है। कार्मिकों का अभाव है। नई नियुक्तियां नहीं हुई हैं। गेट पर ड्यूटी के हिसाब से कार्मिक खड़ा रहता है। क्षतिग्रस्त सडक़ों की मरम्मत, पाल की मरम्मत, सीसीटीवी कैमरे समेत अन्य सुविधाओं के लिए 24.33 करोड़ का टेंडर जारी कर दिया है। शीघ्र ही कार्य शुरू करवा दिए जाएंगे। –चन्द्रवीरसिंह उदावत, अधिशासी अभियंता, जवाईनहर खण्ड, सुमेरपुर।
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