राजस्थान पत्रिका ने सिलसिलेवार समाचार प्रकाशित कर जैतारण क्षेत्र के आसरलाई, मोहराई, फूलमाल, रास, बांझाकुड़ी सहित अन्य गांवों की नदियों में बड़े स्तर हो रहे बजरी के अवैध खनन का खुलासा किया था। जैतारण विधायक अविनाश गहलोत ने भी जिम्मेदारों को पत्र भेज कार्रवाई की मांग उठाई थी। बावजूद इसके जिम्मेदारों ने अनदेखी का सिलसिला जारी रखा।
देर रात पहुंची टीम
जैतारण उपखण्ड अधिकारी भास्कर विश्नोई व खनिज विभाग सोजत के फोरमेन विकास कुमार देर रात को फूलमाल नदी में पहुंचे। वहां नदी मेें चार ट्रोले खड़े थे। उनमें से दो ट्रोलों में ओवरलोड़ बजरी लाद रखी थी। जबकि अन्य दो ट्रोलों में बजरी लादने की कवायद जारी थी। टीम को देख खननकर्ता बुलडोजर लेकर फरार हो गए। टीम ने बजरी से लदे दो ट्रोले व दो खाली ट्रोलों को जब्त किया। कार्रवाई की सूचना पर जैतारण पुलिस भी मौके पर पहुंची।
जैतारण उपखण्ड अधिकारी भास्कर विश्नोई व खनिज विभाग सोजत के फोरमेन विकास कुमार देर रात को फूलमाल नदी में पहुंचे। वहां नदी मेें चार ट्रोले खड़े थे। उनमें से दो ट्रोलों में ओवरलोड़ बजरी लाद रखी थी। जबकि अन्य दो ट्रोलों में बजरी लादने की कवायद जारी थी। टीम को देख खननकर्ता बुलडोजर लेकर फरार हो गए। टीम ने बजरी से लदे दो ट्रोले व दो खाली ट्रोलों को जब्त किया। कार्रवाई की सूचना पर जैतारण पुलिस भी मौके पर पहुंची।
यहां अनदेखी
प्रशासन व खनिज विभाग मोहराई व आसरलाई में बड़े स्तर पर हो रहे बजरी खनन की अनदेखी कर रहा है। सूत्रों की मानें तो इन दोनों गांवों की नदियों में अवैध खनन करने वाले रसूखदार हैं। इससे जिम्मेदार यहां कार्रवाई नहीं कर मौन समर्थन देते आ रहे हैं।
प्रशासन व खनिज विभाग मोहराई व आसरलाई में बड़े स्तर पर हो रहे बजरी खनन की अनदेखी कर रहा है। सूत्रों की मानें तो इन दोनों गांवों की नदियों में अवैध खनन करने वाले रसूखदार हैं। इससे जिम्मेदार यहां कार्रवाई नहीं कर मौन समर्थन देते आ रहे हैं।
एक लाख टन बजरी का खनन
जैतारण के आसरलाई, मोहराई, फूलमाल, बांझाकुड़ी सहित अन्य गांवों की नदियों से रोजाना 100 से भी अधिक वाहनों में बजरी लादी जाती है। इनमें डम्पर व ट्रोले शामिल हैं। ये बजरी जयपुर, कोटा, भीलवाड़ा जिले में भेजी जा रही है। बजरी से ओवरलोड लदे वाहन बर होते हुए फोरलेन की रास्ते सरपट निकलते हैं। जिन्हे रोक-टोक करने वाले जिम्मेदार अनदेखी करते हैं। जैतारण क्षेत्र से एक माह में एक लाख टन बजरी का खनन किया जा रहा है। नदियां इस कदर छलनी हो चुकी है कि किसानों को कुएं रिचार्ज नहीं होने की चिंता अभी से सताने लगी है।
जैतारण के आसरलाई, मोहराई, फूलमाल, बांझाकुड़ी सहित अन्य गांवों की नदियों से रोजाना 100 से भी अधिक वाहनों में बजरी लादी जाती है। इनमें डम्पर व ट्रोले शामिल हैं। ये बजरी जयपुर, कोटा, भीलवाड़ा जिले में भेजी जा रही है। बजरी से ओवरलोड लदे वाहन बर होते हुए फोरलेन की रास्ते सरपट निकलते हैं। जिन्हे रोक-टोक करने वाले जिम्मेदार अनदेखी करते हैं। जैतारण क्षेत्र से एक माह में एक लाख टन बजरी का खनन किया जा रहा है। नदियां इस कदर छलनी हो चुकी है कि किसानों को कुएं रिचार्ज नहीं होने की चिंता अभी से सताने लगी है।