युवा दे रहे सहयोग
केंद्र का कार्य देख गांव के शिक्षित युवक व युवतियां केंद्र से जुड़े हैं। उन्होंने गांव की कच्ची बस्ती में रहने वाले गरीब परिवार के बच्चों को पाठशाला में प्रवेश दिलाया। पाठशाला में कक्षा दो से आठ तक पढ़ाया जाता है। इन बच्चों को गांव के कानदास, शोभा भाटी, योग्यता निम्बेल, डिम्पल चौहान रोजाना पाठशाला में नि:शुल्क सेवा दे रहे हैं।
केंद्र का कार्य देख गांव के शिक्षित युवक व युवतियां केंद्र से जुड़े हैं। उन्होंने गांव की कच्ची बस्ती में रहने वाले गरीब परिवार के बच्चों को पाठशाला में प्रवेश दिलाया। पाठशाला में कक्षा दो से आठ तक पढ़ाया जाता है। इन बच्चों को गांव के कानदास, शोभा भाटी, योग्यता निम्बेल, डिम्पल चौहान रोजाना पाठशाला में नि:शुल्क सेवा दे रहे हैं।
कुछ यूं मिल रहा सहयोग
इस पाठशाला में पढऩे वाले बच्चों की पाठ्य सामग्री व पोशाक गांव के ही दानदाताओं द्वारा उपलब्ध कराई जा रही है। इसमें पशु चिकित्सा विभाग के कम्पाउंडर घनश्याम मेवाड़ा भी सहयोग कर रहे हैं। जो बच्चे सरकारी स्कूल में जाने की इच्छा जताते हैं उन्हें पाठ्य सामग्री व पोशाक दानदाताओं से दिलाकर सरकारी स्कूल में प्रवेश दिलाने का काम भी केंद्र कर रहा है। इस सत्र में ऐसे चार बच्चों को सरकारी स्कूल में प्रवेश दिलाया है।
इस पाठशाला में पढऩे वाले बच्चों की पाठ्य सामग्री व पोशाक गांव के ही दानदाताओं द्वारा उपलब्ध कराई जा रही है। इसमें पशु चिकित्सा विभाग के कम्पाउंडर घनश्याम मेवाड़ा भी सहयोग कर रहे हैं। जो बच्चे सरकारी स्कूल में जाने की इच्छा जताते हैं उन्हें पाठ्य सामग्री व पोशाक दानदाताओं से दिलाकर सरकारी स्कूल में प्रवेश दिलाने का काम भी केंद्र कर रहा है। इस सत्र में ऐसे चार बच्चों को सरकारी स्कूल में प्रवेश दिलाया है।
– पिपलिया कला में हमारा केंद्र रामद्वारा व एक व्यक्ति के मकान में चल रहा है। जिसमें गांव के युवा पढ़ाने व पाठ्य सामग्री के लिए दानदाता सहयोग कर रहे हैं। अब हम शीघ्र ही इस तरह की पाठशाला अन्य गांवों में शुरू करने की तैयारी में हैं। अगली पाठशाला आगामी दिनों में बांसिया गांव में शुरू करना प्रस्तावित है। -जसवंत सिंह, उपखण्ड कार्यवाह, आरएसएस, पिपलिया कलां