गुरू पूर्णिमा के अवसर पर सिखवाल समाज की और से शहर में भव्य शोभायात्रा का आयोजन किया गया। शोभायात्रा तिलक नगर से शुरू होकर शहर के मुख्य मार्गो से गुजरती हुई वापस समाज भवन पंहुची । शोभायात्रा का रास्ते में जगह-जगह भव्य स्वागत किया गया। शोभायात्रा में झांकी के साथ समाज के लोग संत ऋषि के भजन गा रहे थे। समाज के अध्यक्ष सोहन लाल ने बताया कि इस अवसर पर समाज के लोगो से भोजन प्रसादी के दौरान झूठन नही छोडऩे का आव्हान किया गया।
गुरू पूर्णिमा के अवसर पर सिखवाल समाज की और से शहर में भव्य शोभायात्रा का आयोजन किया गया। शोभायात्रा तिलक नगर से शुरू होकर शहर के मुख्य मार्गो से गुजरती हुई वापस समाज भवन पंहुची । शोभायात्रा का रास्ते में जगह-जगह भव्य स्वागत किया गया। शोभायात्रा में झांकी के साथ समाज के लोग संत ऋषि के भजन गा रहे थे। समाज के अध्यक्ष सोहन लाल ने बताया कि इस अवसर पर समाज के लोगो से भोजन प्रसादी के दौरान झूठन नही छोडऩे का आव्हान किया गया।
गुरू पूर्णिमा के अवसर पर सिखवाल समाज की और से शहर में भव्य शोभायात्रा का आयोजन किया गया। शोभायात्रा तिलक नगर से शुरू होकर शहर के मुख्य मार्गो से गुजरती हुई वापस समाज भवन पंहुची । शोभायात्रा का रास्ते में जगह-जगह भव्य स्वागत किया गया। शोभायात्रा में झांकी के साथ समाज के लोग संत ऋषि के भजन गा रहे थे। समाज के अध्यक्ष सोहन लाल ने बताया कि इस अवसर पर समाज के लोगो से भोजन प्रसादी के दौरान झूठन नही छोडऩे का आव्हान किया गया।
गुरू पूर्णिमा के अवसर पर सिखवाल समाज की और से शहर में भव्य शोभायात्रा का आयोजन किया गया। शोभायात्रा तिलक नगर से शुरू होकर शहर के मुख्य मार्गो से गुजरती हुई वापस समाज भवन पंहुची । शोभायात्रा का रास्ते में जगह-जगह भव्य स्वागत किया गया। शोभायात्रा में झांकी के साथ समाज के लोग संत ऋषि के भजन गा रहे थे। समाज के अध्यक्ष सोहन लाल ने बताया कि इस अवसर पर समाज के लोगो से भोजन प्रसादी के दौरान झूठन नही छोडऩे का आव्हान किया गया।
गुरू पूर्णिमा के अवसर पर सिखवाल समाज की और से शहर में भव्य शोभायात्रा का आयोजन किया गया। शोभायात्रा तिलक नगर से शुरू होकर शहर के मुख्य मार्गो से गुजरती हुई वापस समाज भवन पंहुची । शोभायात्रा का रास्ते में जगह-जगह भव्य स्वागत किया गया। शोभायात्रा में झांकी के साथ समाज के लोग संत ऋषि के भजन गा रहे थे। समाज के अध्यक्ष सोहन लाल ने बताया कि इस अवसर पर समाज के लोगो से भोजन प्रसादी के दौरान झूठन नही छोडऩे का आव्हान किया गया।