बड़ी मूंग की दाल से बनती है, जिसमें प्रोटीन, राबोड़ी में विटामिन सी की भरपूर मात्रा होती है। पंचकूटा की सब्जी भी खासी लाभदायक है। केर पाचन संस्थान संबंधित रोगों में लाभकारी है तो कुमटिया-कुलत्थ में पथरी का रामबाण इलाज है। गूंदा जोड़ों के रोग में फायदेमंद होता है तो सांगरी व अमचूर में विटामिन सी की प्रचुर मात्रा होती है, जो शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाती है। हालांकि एकल परिवारों की संस्कृति और कामकाजी महिलाएं इन सब्जियों से दूर होती जा रही है, लेकिन सच में ये सब्जियां आज के दौर में हमारे लिए जीवनदायिनी सिद्ध हो सकती है।
घरों में महिलाएं पापड़-खीचिया बनाती है। ये भी सेहत के लिए लाभकारी है। ये दोनों ही हमारे गरिष्ठ व तैलीय भोजन को पचाने में मदद करते हैं। इसके साथ ही आंवला, केर, गूंदे व आम का अचार भी स्वादिष्ट एवं सेहतकारी है। आंवला व आम के अचार में विटामिन सी की प्रचुर मात्रा होती है। गूंदा शरीर के जोड़ को मजबूत बनाता है।