हैंडपंपों के बंद व बिगड़े होने की शिकायत मिलने के बाद उन्हें शीघ्र सुधारने के निर्देश हैं, इसके बाद भी इस दिशा में अभी तक ध्यान नहीं दिया जा रहा है। इससे क्षेत्र में पेयजल को लेकर स्थिति गंभीर बनी है। पंचायतों द्वारा पेयजल की सुविधा नहीं की जा रही है। इससे हालात बिगड़ते जा रहे हैं। हैंडपंपों में सुधार नहीं होने और क्षेत्र की करीब 50 फीसदी नल-जल योजनाओं के बंद होने से जल संकट भयावह रूप ले चुका है।
गौरतलब है कि इस साल अपेक्षा से कम बारिश हुई है। इससे जलस्रोत भर नहीं पाए। इसका परिणाम यह हुआ कि भीषण गर्मी का दौर शुरू होने के साथ ही अधिकांश प्राकृतिक जलस्रोत सूख गए। जलस्तर नीचे जाने के साथ बोरिंग और हैंडपंप जवाब देने लगे थे।
फिलहाल हालात यह है कि जनपद क्षेत्र की करीब ५० फीसदी नलजल योजनाएं बंद पड़ी हैं। इसी बंद अधिकांश हैंडपंपों को सुधारा जा सकता है, लेकिन मकैनिकों की कमी बताकर इन्हें शीघ्र नहीं सुधारा जा रहा है। इससे हालात दिनोंदिन खराब होते जा रहे हैं।
कई किमी. दूर से ला रहे पानी ग्रामीणों ने बताया, नल जल योजना बंद होने के बाद अधिकांश हैंडपंप गर्म हवा दे रहे हैं। जिन हैंडपंपों से पानी आ रहा है वहां रात दो-तीन बजे से ही लोगों की लाइन लग जाती है। कुछ समय चलने के बाद ये हैंडपंप भी जवाब देने लगते हैं। कुछ समय बाद फिर पानी फिर आता है तो लोगों की भीड़ लग जाती है।
ग्रामीणों का अधिकांश समय पानी की व्यवस्था में ही गुजरता है। ग्रामीणों का कहना है कि प्रशासन द्वारा यदि बंद हैंडपंपों को सुधार दिया जाता तो काफी राहत मिलेगी। ब्लॉक में हैंडपंपों की स्थिति
कुल हैंडपंप- 2030
बिसानी सेक्टर-340
चालू हालत में-70
पानी की कमी के कारण बंद-130
बिगड़े हैंडपंप-140
बोरी सेक्टर में कुल हैंडपंप-360
चालू हालत में- 80
पानी की कमी के कारण बंद-80
बिगड़े हैंडपंप-200
शाहनगर सेक्टर में कुल हैंडपंप-580
चालू हालत में-80
पानी की कमी के कारण बंद- 180
बिगड़े हैंडपंप- 320
रैपुरा सेक्टर में कुल हैंडपंप-720
चालू हालत में-160
पानी की कमी के कारण बंद हैंडपंप-240
बिगड़े हैंडपंप-320