यह भी पढ़े : प्रदर्शन: मांगे नहीं मानने पर स्वास्थकर्मीयों ने लगा ली फांसी, जानिए फिर क्या हुआ गौरतलब है कि 11 मार्च को बिहार राज्य में दारोगा भर्ती परीक्षा का आयोजन किया गया। परीक्षा 700 से अधिक केंद्रो पर आयोजित की गई। परीक्षा से पूर्व हि पेपर के लीक हो गया था जिसे लेकर छात्रों में रोष व्याप्त था। अभ्यर्थियों ने शुक्रवार को काला दिवस मनाने का ऐलान किया था। सभी छात्र एकत्रित होकर मुख्य सडकों से निकलते हुए शहर के कारगिल चौक पर पहुचे। प्रदर्शनकारी छात्रों ने कोचिंग संस्थानों को बंद कर रोड जाम कर दिया था। यहां छात्रों के बड़े समूह को देखकर भारी संख्या में पुलिसकर्मी प्रदर्शन स्थल पर पहुंचे।
यह भी पढ़े:ट्रंप के साथ संबंधों का दावा करने वाली पॉर्न स्टार का आरोप, मिल रही जान से मारने की धमकी छात्र नारेबाजी कर रहे थे और दारोगा भर्ती परीक्षा और एसएससी परीक्षा रद्द करने की मांग कर रहे थे। छात्रों का यह प्रदर्शन धिरे धिरे उग्र होने लगा। मौके पर तनावपूर्ण हालात बनते हुए देखकर पुलिस ने छात्रों को वहां से खदेड़ने का प्रयास किया। इस पर छात्रों को गुस्सा आ गया। भीड़ में से कुछ छात्र पत्थरबाजी करने लगे। मामले को शांत करवाने के लिए पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा। पुलिस और छात्रों की इस झड़प में कुछ छात्रों और पुलिस वालोें को चोटे आ गई। इस घटनाक्रम में कुछ पत्रकार भी घायल हो गए ।