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स्ट्रगल में टीचर्स ने मदद की, अब अपनी सैलेरी स्टूडेंट्स के लिए दे देता हूं- प्रो. कोठारी

locationजयपुरPublished: Jul 17, 2019 08:33:04 pm

Submitted by:

Anurag Trivedi

राजस्थान यूनिवर्सिटी के वीसी प्रो. आरके कोठारी अपनी सैलेरी स्टूडेंट्स की स्कॉलरशिप के नाम करते हैं

Prof. Kothari

Prof. Kothari

जयपुर. स्टूडेंट्स के लिए गुरु की सही मिसाल है, राजस्थान यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर प्रो.आर.के.कोठारी। कोठारी ने बताया कि ‘मैंने अपनी पढ़ाई पार्ट टाइम जॉब से की है। अपनी पढ़ाई के खर्च के साथ ही परिवार की जिम्मेदारियां भी उठाता था। उस दौरान मेरे गुरुजनों और समाज के लोगों ने बहुत साथ दिया। जब मैं नौवी कक्षा में था, तभी से पार्ट टाइम जॉब करता था। टीचर्स मेरी मदद करते थे। मैं रात को 9-10 बजे भी उनके घर चला जाता था तो वे मदद करते थे। मुझे गुरु आर.एल. शर्मा से विशेष प्रेरणा मिली। जिस दिन बीकॉम का आखिरी दिन था, उस दिन उन्होंने मुझे बुलाया और पूछा कि आगे क्या करोगे? मैं बोला अजमेर से ही एमकॉम करना है। इस पर उन्होंने जयपुर आने की सलाह दी और साथ ही उन्होंने जयपुर के कई टीचर्स को मेरी मदद के लिए चिट्ठी भी लिखी। इससे पहले भी समाज के कई लोगों ने स्कॉलरशिप दी, जिससे मैं पढ़ पाया। जयपुर आने के बाद सुबह के समय कॉलेज में पढ़ाई करता और शाम के समय बैंक में नौकरी करता। गुरुजनों के आशीर्वाद और समाज के सहयोग से पढ़ाई पूरी कर राजस्थान यूनिवर्सिटी में नौकरी लगी। पहली तनख्वाह में 1066 रुपए मिले। 38 साल की नौकरी के दौरान बहुत अनुभव लिए। जब कुलपति नियुक्त हुआ तभी सोच लिया था कि अब समय समाज को वापस लौटाने का है। जो स्ट्रगल मैने देखा, वह दूसरे बच्चे न देखे। अपनी सैलेरी से यूनिवर्सिटी के गरीब बच्चों को छात्रवृत्ति देने का निर्णय लिया। कुलपति पद के कार्यकाल के दो साल पूरे हो चुके हैं। सैलेरी से अब तक 105 छात्राओं व 51 छात्रों सहित कुल 156 स्टूडेंट्स को 9 लाख 36 हजार रुपए की स्कॉलरशिप दी जा चुकी है।

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