अमित शाह ने एलजेपी को दिया है ये आश्वासन
गुरुवार को उपेंद्र कुशवाहा ने भी महागठबंधन का दामन थाम लिया, जिसके बाद चिराग पासवान और रामविलास पासवान से अमित शाह मिले। इस मीटिंग में अमित शाह ने दोनों को ये आश्वासन दिया है कि बीजेपी अपने सहयोगी दलों का सम्मान बरकरार रखेगी। कुशवाहा के एनडीए छोड़ने के बाद से ही एलजेपी के भी बगावती तेवर सामने आ गए थे।
मुलाकात को लेकर सामने नहीं आई है अभी कोई जानकारी
शाह से मुलाकात से पहले बीजेपी महासचिव और बिहार के प्रभारी भूपेन्द्र यादव गुरुवार शाम को संसद भवन से सीधे चिराग पासवान से मुलाकात करने उनके घर पहुंच गए। कुछ देर रुकने के बाद यादव चिराग और रामविलास पासवान को लेकर बीजेपी अध्यक्ष शाह के पास ले गए, जहां इन नेताओं की लगभग एक घंटे तक बैठक हुई। हालांकि बैठक से संबंधित कोई जानकारी नहीं दी गई है, लेकिन माना जा रहा है कि शाह ने उन्हें आश्वस्त किया कि बीजेपी अपने सहयोगी दलों का सम्मान करती है और उनकी चिंताओं को भी दूर करेगी। बीजेपी की ओर से यह भी कहा गया है कि सीटों को लेकर भी जल्द ही बातचीत करके औपचारिक ऐलान किया जाएगा।
क्या है एलजेपी की मांग?
आपको बता दें कि उपेंद्र कुशवाहा के बागी होने के बाद एलजेपी ने भी सीट बंटवारे को लेकर जल्द फैसला करने की मांग की है। एलजेपी ने बीजेपी से बिहार में सात लोकसभा सीटों की मांग की है। 2014 में एलजेपी ने इतनी ही सीटों पर चुनाव लड़ा था। हालांकि मीडिया में ऐसी खबरें आई थी कि अमित शाह और नीतीश के बीच आधी-आधी सीटों पर चुनाव लड़ने की सहमति बनी थी, जिसके बाद से ही बिहार में ये सियासी घमासान खड़ा हो गया है।
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