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भारत बंद: राहुल गांधी ने पूछा, पेट्रोल-डीजल की आसमान छूती कीमत पर चुप क्‍यों हैं पीएम मोदी?

Published: Sep 10, 2018 03:57:15 pm

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Dhirendra

एनडीए की सहयोगी शिव सेना, बीजू जनता दल और दिल्‍ली में आम आदमी पार्टी ने भारत बंद से किनारा कर लिया है।

Bharat Bandh

भारत बंद

नई दिल्‍ली। कैलाश मानसरोवर यात्रा से लौटे कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने भारत बंद को सफल बनाने के लिए राजघाट से रामलीला मैदान तक अन्‍य विपक्षी दलों के नेताओं के साथ मार्च निकाला। राहुल ने पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतों और राफेल मामले को लेकर सोमवार को पीएम मोदी पर निशाना साधा। उन्‍होंने कहा कि मोदी जी सही कहते हैं कि उन्होंने साढ़े चार साल में वो किया जो 70 साल में नहीं हुआ। अब लोगों को पता चल गया है कि उन्होंने साढ़े चार साल में पेट्रोल की कीमत 80 रुपए के पार पहुंचा दिया और डीजल की 80 के पास। लेकिन पीएम इस मुद्दे पर कुछ नहीं कहते। देश के लोग जो सुनना चाहते है उसे पीएम मोदी कहना नहीं चाहते। वो जब से पीएम बने हैं तब से केवल भाषण दे रहे हैं।
पूंजीपतियों को पहुंचाया लाभ
राहुल ने दावा किया महिलाओं पर अत्याचार होते रहे पर प्रधानमंत्री ख़ामोश रहे। पूरे देश में मोदी जी पेट्रोल डीज़ल और गैस पर विपक्ष में रहते हुए खूब बोलते थे, लेकिन अब एक शब्द नहीं बोलते हैं । कांग्रेस नेता ने कहा कि राफेल के सवाल पर प्रधानमंत्री खामोश हैं । एक मित्र उद्योगपति को 45 हज़ार करोड़ दे दिये । ये देश की आम जनता का पैसा है। नोटबंदी के नाम पर अपने मित्रों का काला धन सफेद करवाया।
भरोसे को तोड़ा

भारत बंद के दौरान रामलीला मैदान में धरने पर बैठे कांग्रेस अध्‍यक्ष राहुल गांधी ने कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा कि जनता ने 2014 में मोदी पर भरोसा किया था। लेकिन पीएम लोगों के भरोसे पर खरा नहीं उतरे। चार साल में मोदी सरकार ने सिर्फ देश को भरोसे को तोड़ने का काम किया है। उन्‍होंने मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि अभी तक उन्‍होंने कुछ नहीं किया। जबकि कुछ महीनों बाद लोकसभा का चुनाव होना है। अगर पीएम ने कुछ किया है तो वो देश को सिर्फ तोड़ने का काम किया है। यह काम वो आज भी कर रहे हैं। पेट्रोल की कीमत 80 रुपए के पार है और डीजल 80 से कम। पीएम इस मुद्दे पर कुछ नहीं कहते। देश के लोग जो सुनना चाहते है उसे पीएम मोदी कहना नहीं चाहते। वो जब से पीएम बने हैं तब से केवल भाषण दे रहे हैं।
देश के लोग परेशान

कांग्रेस के नेतृत्‍व में तेल की बढ़ती कीमतों के खिलाफ रामलीला मैदान में 21 दलों के नेता और कार्यकर्ता धरने पर बैठे हैं। इस दौरान पूर्व पीएम मनमोहन सिंह ने कहा कि मोदी सरकार से सभी लोग परेशान हैं। सरकार की नीतियां जन विरोधी हैं। यही वजह है कि देश के लोगों में बड़े पैमाने पर असंतोष है। इस बात से साफ है कि देश में सरकार बदलने का समय आ गया है।
रामलीला मैदान में जमे 20 दलों के नेता

तेल की कीमतों में बढ़ोतरी के खिलाफ भारत बंद को सफल बनाने के लिए कांग्रेस अध्‍यक्ष राहुल गांधी, विपक्षी दलों के नेताओं के साथ रामलीला मैदान में धरने पर बैठे हैं। यूपीए अध्‍यक्ष सोनिया और पूर्व पीएम डॉ. मनमोहन सिंह भी वहां पहुंच गए हैं। सोनिया ने वहां पहुंचते ही मोदी सरकार को जनविरोधी नीतियों को लेकर आगाह किया। इससे पहले राहुल गांधी राजघाट पहुंचे थे। यहीं से उन्‍होंने भारत बंद को लेकर मार्च की अगुवाई की। राजघाट पहुंचकर उन्‍होंने सबसे पहले राष्‍ट्रपति महात्‍मा गांधी को श्रद्धांजलि दी। इस मौके पर उनके साथ कांग्रेस के गुलाम नबी आजाद, अशोक गहलोत, अजय माकन सहित कई वरिष्‍ठ नेता भी राजघाट पर मौजूद रहे। इस बीच प्रदर्शन के दौरान मुंबई प्रदेश कांग्रेस अध्‍यक्ष संजय निरुपम के साथ पुलिस की धक्‍का-मुक्‍की भी हुई। इसके बाद पुलिस ने मामले को नियंत्रित कर लिया है।
दूसरी तरफ बिहार में भारत बंद हिंसक होता जा रहा है। बंद समर्थक हिंसा पर उतारू हो गए हैं। पटना में जन अधिकार पार्टी लोकतांत्रिक के कार्यकर्ताओं ने पटना के राजेंद्र नगर टर्मिनल रेलवे स्टेशन पर रेलवे ट्रैक को ब्‍लॉक कर दिया है। साथ ही पटना सिटी में पत्‍थरबाजी घटनाओं को भी अंजाम दिया है। इसके साथ ही आरजेडी कार्यकर्ता भी बिहार के विभिन्‍न शहरों में ट्रेनों की आवाजाही रोक दिया है।
पेट्रोल-डीजल के बढ़ते दामों के विरोध में भारत बंद का असर दिखने लगा है। उत्‍तर से लेकर दक्षिण भारत तक में इसका असर दिखाई देने लगा है। बिहार के जहानाबाद में राजद कार्यकर्ताओं ने रेलवे ट्रैक पर आगजनी की घटना को अंजाम दिया है। वहीं खगडि़या और दरभंगा में प्रदर्शनकारियों ने ट्रेनों और बसों की आवाजाही को ठप कर दिया है। कांग्रेस-जेडीएस शासित कर्नाटक के मंगलुरु में कुछ उपद्रवियों ने एक प्राइवेट बस पर पत्थरबाजी की घटना को अंजाम दिया। अभी तक इस घटना में किसी के घायल होने की सूचना नहीं हैा
सुरक्षाबलों की तैनाती

गुजरात के अहमदाबाद में बंद के मद्देनजर सुरक्षाबलों की तैनाती की गई है। यहां के इसनपुर में एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं ने स्कूल बंद करवाया। इसके अलावा भी कई प्राइवेट स्कूलों की छुट्टी घोषित की गई है। कर्नाटक में कलबुर्गी, आंध्र प्रदेश में विशाखापटनम और ओडिशा में भुवनेश्‍वर और संबलपुर में भी बंद का असर सुबह से ही है।
दुकानें बंद
दक्षिण भारतीय राज्य केरल में भी विपक्ष के भारत बंद का असर सुबह से ही है। केरल में सुबह छह बजे से लेकर शाम छह बजे तक भारत बंद रहेगा। राज्य में अधिकतर जगह दुकानें बंद हैं। इसके अलावा भी राज्य की बस सर्विस भी पूरी तरह से ठप है। भारत बंद के कारण लोगों को कई तरह की परेशानी का भी सामना करना पड़ रहा है। पेट्रोल-डीजल के बढ़ते दामों के विरोध में कांग्रेस के भारत बंद देश भर में जारी है। ओडिशा, कर्नाटक, आंध्र प्रदेश, पंजाब, राजस्‍थान, मध्‍य प्रदेश के लोग सुबह से ही मोदी सरकार के खिलाफ सड़कों पर उतरकर विरोध कर रहे हैं। जानकारी के मुताबिक आज भारत बंद की अगुवाई यूपीए अध्‍यक्ष सोनिया गांधी करेंगी। कुछ देर बाद राजघाट पर पार्टी के वरिष्‍ठ नेताओं और कार्यकर्ताओं के साथ वह धरने का नेतृत्‍व करेंगी। बंद प्रदर्शन सुबह आठ बजे से तीन बजे तक जारी रहेगा। कांग्रेस की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि बंद पूरी तरह से शांतिपूर्ण है।
21 दलों का समर्थन
कांग्रेस ने का दावा किया है कि भारत बंद का महागठबंधन के 21 दलों का समर्थन हासिल है। सोनिया गांधी इस बंद की अगुवाई करते हुए दिल्ली की सड़कों पर उतरेंगी। कांग्रेस का कहना है कि बंद के दौरान किसी भी प्रकार की हिंसा नहीं होगी। बंद का समर्थन करने वाले दलों में आरजेडी जेडीएस, सपा, सीपीआई, बसपा, डीएमके, मनसे समेत 21 दल हैं। कर्नाटक सरकार ने बंद के चलते सभी शिक्षण संस्थानों में छुट्टी का ऐलान कर दिया है। सरकारी दफ्तरों में भी छुट्टी रहेगी। कांग्रेस थोड़ी देर बाद राजघाट पर धरना देगी। प्रदर्शन में सोनिया गांधी और पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह सहित कांग्रेस के वरिष्‍ठ नेता शामिल होंगे।
मनसे की सक्रिय भागीदारी
राज ठाकरे की पार्टी मनसे ने बंद में हिस्सा लेगी। ठाकरे ने एक बयान में कहा कि मनसे केवल बंद में हिस्सा ही नहीं लेगी, बल्कि सक्रिय भागीदारी भी करेगी। सीपीआई नेता अतुल अंजान ने तेल के बढ़ते दामों के बहाने मोदी सरकार पर बड़े सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि देश की विदेश नीति फेल है। प्रधानमंत्री के सारे दावे झूठे निकल रहे हैं। कांग्रेस नेता पीएल पुनिया ने भी तेल की कीमतों को लेकर मोदी सरकार पर करारा हमला किया, पुनिया ने बताया कि यूपीए सरकार में क्रूड ऑयल की कीमतें क्या थीं, और उस वक्त देश में पेट्रोल डीजल की कीमतें क्या थीं और मोदी सरकार में क्रूड ऑयल की कीमतें क्या हैं, और पेट्रोल डीजल देश में कितने में बिक रहा है।
किसने किया बंद से किनारा
पिछले कुछ महीनों से कांग्रेस से नजदीकी बनाने वाली एनडीए की सहयोगी शिव सेना ने बंद से दूरी बना ली है। दिल्‍ली में आम आदमी पार्टी ने भी बंद से किनारा कर लिया है। टीएमसी, टीडीपी जैसी पार्टियों ने न तो बंद का समर्थन किया है और न ही विरोध किया है। बीजेडी ने बंद में शामिल नहीं होने की घोषणा की है। शिवसेना प्रवक्ता संजय राउत ने कहा कि जब महंगाई काबू से बाहर होती है वो हमेशा सड़कों पर उतरते हैं। भारत बंद के बहाने विपक्ष की ताकत का भी एहसास हो जाएगा।
सीटीआई ने किया बंद का विरोध
चैम्बर ऑफ ट्रेड इंडस्ट्री (सीटीआई) ने कहा कि वो पेट्रोल-डीजल के दामों में बढ़ोतरी के पूरी तरह खिलाफ है और विपक्ष के इस मुद्दे का समर्थन करता है। लेकिन दुकानें बंद करने के समर्थन में नहीं है, क्योंकि त्योहार का सीजन है और व्यापारी पहले ही मंदी की मार झेल रहा है।
जीएसटी के दायरे में लाने की मांग
मोदी सरकार पर हमला बोलते हुए आज कांग्रेस नेता अजय माकन ने कहा कि चार साल में पेट्रोल पर 211.7 फीसदी और डीजल पर 443 फीसदी एक्साइज ड्यूटी बढ़ी है। मई 2014 में पेट्रोल पर 9.2 रुपए एक्साइज लगता था और अब 19.48 रुपए लगता है। मई 2014 में डीजल पर 3.46 रुपए एक्साइज था। अब 15.33 रुपए लगता है। सरकार से मांग है कि सरकार पेट्रोल-डीजल को जीएसटी में लाए। ऐसा हुआ तो कीमतें 15 से18 रुपए प्रति लीटर कम हो जाएंगी। इससे बाकी चीजों की मंहगाई भी कम होंगी। सरकार ने पिछले चार साल में एक्साइज ड्यूटी से 11 लाख करोड़ रुपए कमाए हैं। कांग्रेस की मांग है कि पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के तहत लाया जाए जिससे तेल के दामों में 15 से 18 रूपए तक गिर सकते हैं।
आपात सेवा को बंद से राहत
कांग्रेस ने भारत बंद से कई चीजों को बाहर रखा गया है। इसमें दवा की दुकान अस्पताल और एंबुलेंस व खान पान से जुड़ी जरूरी चीजों को बंद से राहत दी गई है। ताकि मरीजों और तीमारदारों सहित बच्‍चों को किसी तरह की समस्या न हो।
बरतें इस बात की सावधानी
कांग्रेस सहित 21 विपक्षी दलों ने पेट्रोल-डीजल के बढ़ते दामों के विरोध में आज भारत बंद है। बंद का आह्वान सुबह आठ बजे से दोपहर तीन बजे तक है। इस दौर लोगों को कुछ बातों से परहेज करने की जरूरत है। खासतौर से जिन क्षेत्रों में बंद प्रभावी रहेगा उन क्षेत्रों के लिए सावधानी बरतने की जरूरत है। लोगों का चाहिए कि वो घर से बाहर कम निकलें। अगर निकलना पड़े तो बंद समर्थकों के साथ सहजता और सतर्कता दिखाने की कोशिश करें। परिवार के साथ निकलने से बचें। अपने काम का दोपहर बाद तक के लिए टालने की कोशिश करें। विवादों से बचने की कोशिश करें।
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