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कर्नाटक के गेम प्लानर हुए नाराज!, पार्टी में पद नहीं मिलने से मायूस

locationनई दिल्लीPublished: May 24, 2018 06:09:51 pm

Submitted by:

Kaushlendra Pathak

राजनीतिक सूत्रों के मुताबिक, कर्नाटक के गेम प्लानर पार्टी से नाराज हो गए हैं।

 dk shivkumar

कर्नाटक के गेम प्लानर हुए नाराज!, पार्टी में पद नहीं मिलने से मायूस

नई दिल्ली। कर्नाटक के नाटक से सारे पर्दे उठ चुके हैं। जेडीएस के कुमारस्वामी ने बुधवार को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। लेकिन, यहां सियासी घमासान थमने का नाम नहीं ले रहा है। राजनीतिक सूत्रों के मुताबिक, जिसकी बदौलत कर्नाटक में कांग्रेस और जेडीएस का गठबंधन हुआ वो नाराज हो गए हैं, क्योंकि उनके काम के बावजूद पार्टी या गठबंधन ने उन्हें महत्व नहीं दिया। हम बात कर रहे हैं कांग्रेस नेता डीके शिवकुमार की, जिन्होंने न केवल दो दलों को साथ किया, बल्कि विधायकों को बागी होने से भी बचाया।
‘काम के बदले नहीं मिला इनाम’

एक वेबसाइट के मुताबिक, डीके शिवकुमार के करीबी सूत्रों का कहना है कि वह इस समय काफी परेशान हैं, क्योंकि कांग्रेस हाइकमान ने उनके काम के लिए तत्काल इनाम के तौर पर कुछ नहीं दिया। बताया जा रहा है कि उन्हें उम्मीद थी कि राज्य कांग्रेस इकाई का नेतृत्व अब उनके जिम्मे सौंपा जा सकता है, क्योंकि जी. परमेश्वर के डिप्टी सीएम के रूप में शपथ लेने के साथ ही यह पद खाली हो रहा था। लेकिन, ऐसा कुछ नहीं हुआ। चर्चा यहां तक है कि गुस्से में शिवकुमार अपने सभी समर्थकों और बेंगलुरु ग्रामीण से सांसद अपने भाई डीके सुरेश के साथ मंगलवार रात ही होटेल हिल्टन से चले गए, जहां कांग्रेस विधायकों को ठहराया गया था। हालांकि, उन्होंने बाद में स्थिति को संभालने की कोशिश की और कहा कि मैं करीब एक महीने से घर नहीं गया था और थोड़ा आराम चाहता था इसलिए होटल छोड़ा।
‘राहुल से मिले थे शिवकुमार’

राजनीतिक सूत्रों के मुताबिक, डीके शिवकुमार ने होटल में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के साथ पांच मिनट तक मुलाकात की। राहुल के साथ बैठक के दौरान डीके शिवकुमार ने भावनात्मक रूप से कहा कि उनपर लगातार आयकर विभाग के छापे डाले गए और मुश्किल वक्त में भी वह लगाकर पार्टी के लिए काम करते रहे। इसके बावजूद जब उन्हें इनाम मिलने की बात आई, तो निराशा ही हाथ लगी। हालांकि, सोनिया गांधी ने भी विधायकों को एकजुट रखने के लिए उन्हें धन्यवाद देने के लिए मुलाकात की। बहरहाल, सच जो भी हो लेकिन डीके शिवकुमार की इस मासूयी ने एक नई हवा छेड़ दी है। अब देखना यह होगा कि इसका असर गठबंधन पर भी पड़ता है या फिर पार्टी कोई पद देती है।

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