राजस्थान में शिशु मृत्युदर राष्ट्रीय आैसत से कही ज्यादा है। ये स्थिति मानव विकास सूचकांक के लिहाज से अच्छी नहीं मानी जाती है। इसे कम करने के लिये राज्य का चिकित्सा महकमा पुरजोर प्रयास कर रहा है। हांलाकि संस्थागत प्रसव के बाद इस स्थिति में सुधार भी हुआ है। इसी क्रम में शनिवार को जयपुर के महिला चिकित्सालय में बेबीकिट वितरण कार्यक्रम का आगाज हुआ।
राजस्थान में शिशु मृत्युदर राष्ट्रीय आैसत से कही ज्यादा है। ये स्थिति मानव विकास सूचकांक के लिहाज से अच्छी नहीं मानी जाती है। इसे कम करने के लिये राज्य का चिकित्सा महकमा पुरजोर प्रयास कर रहा है। हांलाकि संस्थागत प्रसव के बाद इस स्थिति में सुधार भी हुआ है। इसी क्रम में शनिवार को जयपुर के महिला चिकित्सालय में बेबीकिट वितरण कार्यक्रम का आगाज हुआ।
ठिकाना श्री गोविन्ददेव जी मंदिर के महंत श्री अंजनी कुमार गोस्वामी के सहयोग से शुरू हुए इस कार्यक्रम का शुभारम्भ चिकित्सा मंत्री राजेन्द्र राठौड ने किया।
चिकित्सा मंत्री राजेन्द्र राठौड़ ने कहा है कि स्वास्थ्य विभाग प्रदेश में बेटी बचाओ अभियान के प्रति गंभीरता से कार्य कर रहा है। उन्होंने बताया कि मातृृ मृत्युदर आैर शिशु मृृत्युदर कम करने के व्यापक प्रयासों के साथ ही नवजात शिशुओं के स्वास्थ्य के प्रति विशेष गंभीरता बरत रहा है।
उन्होंने प्रसूताओं को नवजात बालिकाओं के लिए बेबीकिट वितरित कर इस अभिनव कार्यक्रम का शुभारंभ किया।
चिकित्सा मंत्री ने बेबीकिट वितरण कार्य में सहयोग के लिए महंत श्री अंजनी कुमार गोस्वामी को साधुवाद दिया। इस अभिनव कार्य के तहत महिला चिकित्सालय में प्रतिवर्ष जन्म लेने वाली लगभग एक हजार बालिकाओं को लगभग 25 लाख रुपये राशि के बेबीकिट वितरित किये जायेंगे। बेबीकिट में नवजात बच्चियों के लिए साबुन, तेल, क्रीम, झबला, आदि सामग्री शामिल की गयी हैं।
अतिरिक्त मिशन निदेशक राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिषन डाॅ नीरज के पवन ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग द्वारा बेटी बचाओ अभियान के तहत नवजात बालिकाओं के अभिभावकों को ई.शुभलक्ष्मी योजना के तहत जन्म के समय 2100 रुपये आैर एक वर्ष की आयु पूरी करने पर 2100 रुपये की दूसरी किश्त आैर बच्ची की आयु 5 साल की होने पर 3100 रुपये की तीसरी किश्त उनके बैंक खाते में सीधे जमा करायी जा रही है। उन्होंने बताया कि आमजन द्वारा भी इस कार्य में व्यापक सहभागिता का प्रयास किया जा रहा है।
इस दौरान चिकित्सा मंत्री राजेन्द्र राठौड़ ने एसएमएस अस्पताल में खून की दलाली के आए दिन सामने आ रहे मामलों पर चिंता जताई है। चिकित्सा मंत्री ने एसएमएस मेेडिकल काॅलेज के प्रिंसीपल यूएस अग्रवाल को ऐसे मामलों से सख्ती से निबटने के निर्देश दिए हैं।
गौरतलब है कि पिछले दिनों एक एनजीओ ने मोती डूंगरी थाना पुलिस की मदद से खून की दलाली करने वाले दो आरोपियों को गिरफ्तार किया था। इस मामलें में एसएमएस अस्पताल के डाॅक्टरों और संविदा कर्मचारियों की भूमिका भी सामने आई थी। चिकित्सा मंत्री राजेन्द्र राठौड़ ने कहा कि खून की दलाली के मामले में अस्पताल में कार्यरत संविदा कर्मचारियों की भूमिका सामने आई है। विभाग उनकी सेवाएं समाप्त करने पर विचार कर रहा है।
इस अवसर पर मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डाॅ नरोत्तम शर्मा संबंधित अधिकारीगण मौजूद थे।