शारदापीठ कॉरिडोर से एक-दूसरे के करीब आएंगे भारत-पाकिस्तान
इससे पहले महबूबा मुफ्ती ने शुक्रवार को भी ये मांग की थी। मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा था कि वो शारदा पीठ मुद्दे को लेकर कश्मीरी पंडितों से मिली हैं, उन्हें उम्मीद है कि मोदी जी शारदा पीठ के मामले को पाकिस्तान के साथ उठाएंगे। अगर जमीन पर ये सब कुछ होता है तो निश्चित तौर पर यह करतारपुर कॉरिडोर की तरह ऐतिहासिक कदम होगा। इस कदम के जरिए भारत और पाकिस्तान एक दूसरे के करीब आएंगे।
महबूबा मुफ्ती को होगा सियासी फायदा!
महबूबा मुफ्ती ने इस मांग के साथ ही एक तरह से हिंदुओं के समर्थन में आवाज उठाई है, जिसका कहीं ना कहीं सियासी फायदा भी पीडीपी को हो सकता है। बता दें कि करतारपुर कॉरिडोर के निर्माण को हरी झंडी मिलने से पहले ही कश्मीरी पंडित शारदा पीठ कॉरिडोर की मांग कर रहे हैं, लेकिन अब महबूबा मुफ्ती ने इस मांग को पीएम मोदी के सामने रखा है।
क्या लिखा है चिट्ठी में? पीएम मोदी को लिखी चिट्ठी में महबूबा मुफ्ती ने कहा है कि मैं आपको करतारपुर कॉरिडोर के निर्माण को हरी झंडी देने के लिए ह्रदय से धन्यवाद देती हूं, क्योंकि इस कदम से दोनों देशों की आवाम के बीच शांति का माहौल स्थापित होगा। महबूबा मुफ्ती ने आगे कहा है कि हमारी पार्टी हमेशा से दोनों देशों के लोगों के आपस में कॉन्टैक्ट रहने के समर्थन में रही है। इस दिशा में आपको एक और अहम कदम उठाना चाहिए, शारदापीठ पाक अधिकृत कश्मीर में हमारे कश्मीरी पंडितों का एक पवित्र स्थल है, जिसके लिए भी कॉरिडोर का निर्माण किए जाने पर विचार होना चाहिए।