एनसीपी के कद्दावर नेता और महाराष्ट्र में मंत्री नवाब मलिक ने कहा कि पीएम मोदी से मुलाकात को लेकर समय मांगा गया था, फिर यह आवंटित किया गया और इसके बाद ये बैठक हुई। इस बैठक में को-ऑपरेटिव बैंकों की आरबीआई द्वारा निगरानी के मसले समेत अन्य मुद्दों पर बातचीत की गई। दोनों के बीच में कोई राजनीतिक वार्ता नहीं हुई है।
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इन मुद्दों पर पीएम और पवार के बीच हुई चर्चा
नवाब मलिक ने कहा कि पीएम मोदी और शरद पवार के बीच कई अहम मुद्दों पर चर्चा हुई। उन्होंने कहा कि पीएम मोदी के साथ मुलाकात के दौरान लिखित रूप में ये कहा गया कि बैंक नियामक अधिनियम में किए गए परिवर्तन और भारतीय रिजर्व बैंक को अधिक अधिकार देने से सहकारी बैंक की कार्यप्रणाली प्रभावित हो रही है।
पीएम से शरद पवार ने कहा कि यह सिस्टम राज्य के अधिकारों में घुसपैठ कर रहा है, क्योंकि को-ऑपरेटिव बैंक राज्य सरकार के दायरे में आते हैं। इस संबंध में इससे पहले भी शरद पवार पीएम को चिट्ठी लिख चुके हैं, जिसमें उन्होंने सितंबर 2020 में संसद द्वारा स्वीकृत बैंकिंग विनियमन नियमों के संदर्भ में अपनी चिंताएं व्यक्त की हैं।
इसके अलावा पवार ने राज्यों में कोरोना की स्थिति और वैक्सीनेशन की कमी को लेकर चर्चा की। उन्होंने कहा कि यदि कोई राष्ट्रीय कोविड नीति बनाई जाती है तो उस पर कोई राजनीति नहीं होगी। वहीं सोमवार से शुरू हो रहे मानसून सत्र को लेकर भी नवाब मलिक ने कहा कि एनसीपी विभिन्न मुद्दों को लेकर संसद में अपना पक्ष रखेगी।
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इधर, शरद पवार ने भी पीएम मोदी के साथ हुई बैठक के बारे में कहा कि यह आधिकारिक मुलाकात थी। इसमें राजनीतिक चर्चा नहीं हुई। प्रधानमंत्री को लिखे गए पत्र के संबंध में उन्होंने पीएम मोदी से मिलने का समय मांगा था। बता दें कि शरद पवार ने पीएम मोदी को एक पत्र लिखा था जिसमें उन्होंने को-ऑपरेटिव बैंकों की आरबीआई द्वारा निगरानी के मसले का जिक्र करते हुए अपनी चिंताएं व्यक्त की थी।
नदी के दो छोर कभी नहीं मिल सकते: नवाब मलिक
महाराष्ट्र में एनसीपी और भाजपा के एक साथ आने के अटकलों को खारिज करते हुए नवाब मलिक ने कहा कि भाजपा और एनसीपी कभी भी साथ नहीं आ सकते, क्योंकि हमारी विचारधाराएं अलग हैं। उन्होंने कहा कि राजनीति विचारों के आधार पर होती है, संघ का राष्ट्रवाद और राष्ट्रवादी पार्टी के राष्ट्रवाद में ज़मीन आसमान आ अंतर है। नदी के दो छोर कभी नहीं मिल सकते, ये सच्चाई है। भाजपा और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी का एक साथ आना असंभव है।
राजनाथ सिंह और पीयूष गोयल से पवार की हुई थी मुलाकात
मालूम हो कि बीते दिन शुक्रवार को शरद पवार ने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और फिर पीयूष गोयल से मुलाकात की थी। इन दोनों नेताओं के साथ शरद पवार की मुलाकात का खुलासा करते हुए नवाब मलिक ने कहा कि यह एक शिष्टाचार मुलाकात थी। राज्यसभा में भाजपा के सदन के नेता के रूप में नियुक्त होने के बाद पीयूष गोयल ने खुद उनसे (शरद पवार) शिष्टाचार के तहत मुलाकात की थी।
इसके बाद शरद पवार ने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के कार्यालय में उनसे मुलाकात की थी। इस दौरान पूर्व रक्षा मंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एके एंटनी तथा सेना प्रमुख एमएम नरवणे (Army Chief General MM Naravane) भी मौजूद थे।