मुख्यालय के बाहर कांग्रेस कार्यकर्ता जगदीश शर्मा अपने कुछ कार्यकर्ताओं के साथ ईवीएम में धांधली के आरोप को लेकर धरने पर बैठ गए। सुबह 8 बजे वह कांग्रेस पार्टी की जीत के लिए हवन कर रहे थे, मगर 11 बजे के बाद नतीजे नकारात्मक आने पर वे अपने साथियों के साथ धरने पर बैठ गए। पोस्टर बैनर पहले से ही तैयार थे। उन पर ‘ईवीएम चोरी’ के आरोप लिखे थे।
काँग्रेस के ज्यादातर बड़े नेता मुख्यालय से गायब है। कार्यकर्ता और स्टाफ काफी नाराज है। कांग्रेस के कुछ नेता जो मिले भी वो कैमरे का सामना नहीं कर रहे थे। हालांकि ऑफ रिकॉर्ड बताने के लिए तैयार थे। उन्होंने कहा कि पार्टी को ग्रामीण और मुस्लिम वर्ग से वोटों की बहुत ज्यादा उम्मीद थी। लेकिन यह दोनों वर्ग बंट गए। दूसरा गुना से ज्योतिरादित्य सिंधिया, अमेठी से राहुल गांधी, सोनीपत से भूपिंदर हुड्डा, भोपाल से दिग्विजय सिंह जैसे दिग्गजों के पिछड़ने को कांग्रेस के बड़े नेता स्वीकार नहीं पा रहे। अब नेता उम्मीद कर रहे हैं कि कम से कम पार्टी लोकसभा में विपक्ष के नेता के पद के लिए जरूरी सीटें जीत लें। पिछली बार पार्टी को 44 सीट नसीब हुई थी।
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल शाम 5 बजे के बाद मीडिया के सामने आने की बात कही जा रही है। पार्टी के बड़े नेताओं के मोबाइल फोन बंद हैं। मुख्यालय में कांग्रेस कार्यकर्ता आपस मे ही बहस कर रहे हैं और पार्टी के बड़े नेताओं को इस दिन के लिए कोस रहे हैं। एक कार्यकर्ता ने झगड़ा करने वाले कार्यकर्ता को कहा, अरे तुम क्यों झगड़ रहे हो। जो हुआ सो हुआ। एक कार्यकर्ता बोला हां एक बड़े नेता ने यही तो बोला था ‘हुआ तो हुआ’ इसी का तो नतीजा देखने को मिल रहा है।
कई कार्यकर्ता मणिशंकर अय्यर के विवादित बयान की भी बात कर रहे थे, तो कई कह रहे थे, प्रधानमंत्री को चोर कहना ठीक नहीं था। उसका नुकसान हुआ।