पीएम मोदी का बार-बार यूपी दौरा सियासी गलियारों में अब चर्चा का विषय बन गया है। लोग इस बात के चुनावी कयास अभी से लगा रहे हैं कि आखिर पीएम मोदी यूपी का बार-बार दौरा क्यों कर रहे हैं? उन्हें किस बात की चिंता सताए जा रही है। दरअसल, 2014 में यूपी के दम पर भाजपा केंद्र में सरकार बना पाने में सफल हुई थी। यूपी की 80 सीटों में 73 सीटें एनडीए को मिली थी। अकेले भाजपा को 71 सांसदों को चुनकर यूपी के लोगों ने संसद में भेजा था। यही कारण है कि यूपी भाजपा के लिए अहम हो गया है। ऐसा इसलिए ही यूपी के रास्ते ही भाजपा दिल्ली तक का सफर पूरा कर सकती है। गोरखपुर, फूलपुर, कैराना में हुए विधानसभा उपचुनावों में विपक्षी एकता की वजह से पार्टी को मिली हार के दुष्प्रभाव से भी भाजपा खुद को उबारने में जुटी है। भाजपा की नजर सपा-बसपा गठबंधन और कांग्रेस की ओर से यूपी की सियासत में प्रियंका गांधी की लॉचिंग पर भी है। इन घटनाओं ने भाजपा की चिंता पहले से ज्यादा बढ़ा दी है। यही कारण है कि यूपी में सीट निकालना भाजपा के लिए पहले से ज्यादा चुनौतीपूर्ण हो गया है।
इन चुनौतियों से पार पाने के लिए भाजपा ने यूपी पर सबसे ज्यादा ध्यान देने की रणनीति तैयार की है। इस रणनीति के तहत ही पार्टी ने फरवरी में पीएम मोदी के लिए यूपी का सघन दौरा तय कर रखा है। पीएम के इन दौरों के बल पर पार्टी पूरब से लेकर पश्चिम तक भाजपा के पक्ष में हवा बनाने में जुटी है। यही वजह है कि अपने दौरे के दौरान पार्टी के पक्ष में माहौल बनाने के लिए मोदी बड़ी-बड़ी परियोजनाओं का शुभारंभ भी कर रहे हैं। आज ही वाराणसी के दौरे के दौरान वो 2900 करोड़ रुपए की परियोजनाओं का शिलान्यास करेंगे।
– 11 फरवरी को मथुरा
– 17 फरवरी को झांसी
– 19 फरवरी को वाराणसी
– 24 फरवरी को गोरखपुर का दौरा करेंगे पीएम