नुसरत जहां ने कोलकाता के चलता बागान दुर्गापूजा मंडल में सिंदूर खेला कार्यक्रम में हिस्सा लिया। उनके पति निखिल जैन भी इस दौरान उनके साथ मौजूद रहे। दरअसल, नुसरत जहां जब पिछले दिनों दूर्गा पूजा में शामिल हुई थीं तो देवबंद के उलेमा ने उन पर कई सवाल खड़े किए थे।
बौखलाए पाकिस्तान ने कर दिखाया दुस्साहस, देश के इस इलाके में आतंकी हमले….खाली कराए गए अस्पताल और स्कूल…मच गया हंगामा इत्तेहादे-उलेमा-ए-हिंद के उपाध्यक्ष मुफ्ती असद कासमी ने कहा था कि नुसरत जहां को अपना नाम और धर्म बदल लेना चाहिए। उन्होंने कहा था कि वह अपने कार्यों से इस्लाम और मुसलमानों को बदनाम कर रही हैं। यही नहीं उन्होंने ये भी कहा था कि वह हिंदू देवताओं के पूजा की पेशकश कर रही हैं।
जबकि इस्लाम केवल अल्लाह की इबादत करने का आदेश देता है। उन्होंने कहा कि नुसरत जहां ने जो किया है वह गलत है। नुसरत जहां ने धर्म से बाहर भी विवाह किया है।
उन्हें अपना नाम और धर्म बदल लेना चाहिए। ऐसे लोगों की इस्लाम को आवश्यकता नहीं जो मुस्लिम नामों को स्वीकार कर इस्लाम और मुसलमानों को बदनाम करते हैं। चंद्रयान-2 इसरो के पास आई अब तक की सबसे बड़ी जानकारी, चांद पर अब नहीं हो पाएगा लैंडर से संपर्क
नुसरत का करारा जवाब
इसके बाद नुसरत जहां ने सिंदूर खेला में शामिल होकर उनकी बोलती बंद कर दी। सिंदूर खेला में भाग लेने के बाद उन्होंने कहा कि वह भगवान की स्पेशल चाइल्ड हैं, वह हर त्योहार में हिस्सा लेती हैं। नुसरत ने कहा कि वह मानवता और मोहब्बत में विश्वास रखती है। वह काफी खुश हैं और किसी भी विवाद से उन्हें कोई फर्क नहीं पड़ता है.
इसके बाद नुसरत जहां ने सिंदूर खेला में शामिल होकर उनकी बोलती बंद कर दी। सिंदूर खेला में भाग लेने के बाद उन्होंने कहा कि वह भगवान की स्पेशल चाइल्ड हैं, वह हर त्योहार में हिस्सा लेती हैं। नुसरत ने कहा कि वह मानवता और मोहब्बत में विश्वास रखती है। वह काफी खुश हैं और किसी भी विवाद से उन्हें कोई फर्क नहीं पड़ता है.
दरअसल, सांसद बनने के बाद से ही मौलाना उनसे खफा रहते हैं. जब वह सिंदूर-बिंदी लगाकर संसद में गई थीं तब भी कई धर्मगुरुओं ने उन पर सवाल खड़े किए थे।