scriptउद्धव ठाकरे: मोदी के सपनों के लिए नहीं, आम आदमी के लिए लड़ रहे हैं | Uddhav Thackeray: Fighting for the common man, not for Modi's dreams | Patrika News

उद्धव ठाकरे: मोदी के सपनों के लिए नहीं, आम आदमी के लिए लड़ रहे हैं

locationनई दिल्लीPublished: Jul 23, 2018 11:09:48 am

Submitted by:

Mohit Saxena

शिवसेना के मुख्यपत्र सामना में दिए साक्षात्कार में उद्धव ने मोदी पर किया तीखा हमला

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उद्धव ठाकरे: मोदी के सपनों के लिए नहीं, आम आदमी के लिए लड़ रहे

मुंबई। अविश्वास प्रस्तान के दौरान संसद सदन से नदारद होकर शिवसेना ने भाजपा को संदेश दे दिया है कि वह कभी भी भाजपा का साथ छोड़ सकती है। वह अपने मुखपत्र के जरिए आए दिन भाजपा पर तीखा हमला बोल रही है। इस दौरान शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ बयान दिया है। पार्टी के मुखपत्र सामना को दिए साक्षात्‍कार में उद्धव ठाकरे ने कहा कि वह मोदी के सपनों के लिए नहीं, आम आदमी के सपनों के लिए लड़ रहे हैं।
बुलेट ट्रेन परियोजना के विरोध में

पीएम मोदी की महत्‍वाकांक्षी बुलेट ट्रेन परियोजना के विरोध को लेकर पूछे एक सवाल के जवाब में उद्धव ने कहा कि वह मोदी के सपनों के लिए नहीं बल्कि अपने देश की आम जनता के सपनों के लिए लड़ रहे हैं। पहले वह मुंबई के हीरा व्‍यापारियों को गुजरात ले गए। एयर इंडिया को भी हटा दिया गया। मुंबई के कितने लोगों को बुलेट ट्रेन से अहमदाबाद जाने की त्‍वरित आवश्‍यकता होगी। इसकी बजाय नागपुर को मुंबई से बुलेट ट्रेन से जोड़ दिया जाए।
शिवसेना किसी को धोखा नहीं दे रही

अविश्‍वास प्रस्‍ताव के दौरान बीजेपी के साथ विश्‍वासघात के सवाल पर उद्धव ने कहा कि शिवसेना किसी को धोखा नहीं दे रही है। सरकार के खिलाफ अविश्‍वास प्रस्‍ताव चंद्रबाबू नायडू लाए थे,शिवसेना नहीं जबकि चंद्रबाबू खुद लोकसभा और राज्‍य का चुनाव बीजेपी के साथ मिलकर लड़े थे। बीजेपी के साथ सत्‍ता में बने रहने के सवाल पर ठाकरे ने कहा कि वे इसका इस्‍तेमाल जनता के हित के लिए कर रहे हैं।
अब समझ आने लगी है चाणक्‍य नीति: ठाकरे

उद्धव ने हाल ही में हुए उपचुनावों में पार्टी की करारी हार पर कहा कि भाजपा के दाम,दाम,दंड और भेद के कारण वे चुनाव हार गए। उन्होंने कहा कि अब उनकी चाणक्‍य नीति अब सभी को समझ आने लगी है। इसका अध्‍ययन करने के बाद शिवसेना अपनी आगे की रणनीति बनाएगी। गौरतलब है कि महाराष्ट्र में शिवसेना के साथ खराब रिश्तों के कारण बीजेपी की मुश्किलें बढ़ रही हैं। बीजेपी के सामने सबसे बड़ा संकट यह है कि महाराष्ट्र विधानसभा के चुनाव से पहले उसे लोकसभा के चुनावों का सामना करना है।
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