जानकारी के मुताबिक, बंगाल विधानसभा में पहली बार मुख्य विपक्ष के तौर पर अपनी भूमिका निभा रहे भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायकों ने सत्र शुरू होने के साथ ही राज्य में हो रही धार्मिक व राजनीतिक हिंसा का मुद्दा उठाते हुए हंगामा किया। राज्यपाल धनखड़ ने दोपहर ठीक दो बजे जैसे ही अपना अभिभाषण पढ़ना शुरू किया, वैसे ही भाजपा विधायकों ने विधानसभा अध्यक्ष के आसन के सामने आकर नारेबाजी शुरू कर दी।
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इतना ही नहीं, राज्यपाल का अभिभाषण के बीच में ही भाजपा विधायकों ने ‘भारत माता की जय’ और ‘जय श्री राम का नारा’ लगाते हुए सदन से वॉकआट किया। सदन के बाहर पत्रकारों से बात करते हुए विपक्षी दल के नेता शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि राज्य में चुनाव बाद हुई और हो रही हिंसा एक बड़ा मुद्दा है.. हम इस लड़ाई को अंत तक लेकर जाएंगे।
शुवेंदु अधिकारी ने कहा कि आज से विधानसभा सत्र शुरू हुआ है और राज्यपाल के अभिभाषण में पश्चिम बंगाल में चल रही हिंसा के बारे में उल्लेख नहीं था इसलिए हम लोगों ने विधानसभा में प्रदर्शन किया। उनके अभिभाषण में कोलकाता में हुए फर्जी वैक्सीनेशन के बारे में भी उल्लेख नहीं है।
राजनीतिक कड़वाहट के बीच ममता-धनखड़ ने एक-दूसरे को किया अभिवादन
बता दें कि विधानसभा का सत्र शुरू होने से पहले सदन के बाहर राज्यपाल जगदीप धनखड़ और सीएम ममता बनर्जी का आमना-सामना हुआ। काफी लंबे समय से दोनों एक-दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगाते रहे हैं। इस राजनीतिक कड़वाहट के बीच दोनों ने एक-दूसरे को अभिवादन किया और फिर सदन के अंदर पहुंचे।
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पिछले दिनों ममता बनर्जी ने राज्यपाल पर गंभीर आरोप लगाते हुए उन्हें भ्रष्टाचारी व्यक्ति बताया था। ममता ने कहा था कि राज्यपाल एक भ्रष्ट व्यक्ति हैं.. वे जैन हवाला केस में चार्जशीटेड थे। हालांकि बाद में इस पूरे आरोप पर राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने भी पलटवार किया था।
विधानसभा का अंक गणित
बता दें कि अभी हाल ही में पश्चिम बंगाल में समाप्त हुए विधानसभा चुनाव में ममता बनर्जी की तृणमूल कांग्रेस ने प्रचंड बहुमत के साथ जीत हासिल की। तृणमूल कांग्रेस ने लगातार तीसरी बार पूर्ण बहुमत के साथ जीत हासिल की थी। हालांकि, इस बार मुख्यमंत्री ममता बनर्जी खुद अपना चुनाव हार गईं।
वहीं भाजपा ने पहली बार 77 सीटें जीत हासिल कर मुख्य विपक्षी दल के तौर पर बंगाल में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई। जबकि इससे पिछले चुनाव में भाजपा को मात्र तीन सीटों पर जीत मिली थी।