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सर्वेक्षण टीम पर संशय बरकरार
-स्वच्छता के भौतिक सत्यापन और नागरिक प्रतिक्रिया के बारे में किसी को ज्यादा जानकारी नहीं
प्रतापगढ़.
शहर में स्वच्छता के लिए नगरपरिषद में दस्तावेजों का सत्यापन हो चुका है। सर्वेक्षण टीम को शहर में स्वच्छता के लिए विभिन्न स्थानों पर जाकर भौतिक सत्यापन भी करना है साथ ही नागरिक प्रतिक्रिया भी जाननी है लेकिन यह टीम भौतिक सत्यापन कर नागरिक प्रतिक्रिया जान चुकी है या अब आएगी। इस सम्बंध में अब तक कुछभ् पता नहीं चल पा रहा है और लोगों में संशय बना हुआ है।
केवल दस्तावेज जांच की जानकारी
शहर में स्वच्छ सर्वेक्षण के लिए 10 जनवरी को टीम का एक सदस्य नगरपरिषद पहुंचा था। उसने तीन दिनों तक शहर में स्वच्छता सम्बंधी किए गए कार्यो आदि दस्तावेजों का सघन निरीक्षण किया। तब से अब तक शहर में भौतिक सत्यापन और नागरिक प्रतिक्रिया जानने वाली टीम के बारे में संशय बरकरार है।
पूछ रहे शहरवासी
सर्वेक्षण टीम को लेकर हर किसी में कौतुहल बना हुआ है। आम शहरवासी भी सर्वेक्षण टीम के बारे में एक-दूसरे से पूछते और इस पर चर्चा करते दिखाई देते हैं। हर कोई जानना चाहता है की सर्वेक्षण टीम आ गई या अब आएगी और आएगी तो कब।
अब आने की संभावना
यूं तो सर्वेक्षण टीम आई या नहीं। इस बारे में किसी को कोई जानकारी नहीं है लेकिन चूंकि सर्वेक्षण टीम को नागरिक प्रतिक्रिया भी जाननी है और शहर से अब तक इस बारे में कोई पुष्ट जानकारी नहीं आ रही है की कोई उनके पास स्वच्छता सर्वेक्षण से जुड़े सफाई सम्बंधी प्रश्नों के बारे में पूछने आया हो। ऐसे में संभावना जताई जा रही है की टीम आने वाले किसी भी दिन आ सकती है।
परीक्षा के लिए रहना होगा तैयार
शहर में स्वच्छता देखने के लिए सर्वेक्षण टीम शहर के विभिन्न आवासीय और व्यावसायिक क्षेत्रों में घूमेगी। टीम बस स्टैंड, सब्जीमंडी, शौचालय, मूत्रालयों में साफ-सफाई की स्थिति भी देखेगी। इस दौरान टीम ना तो अपनी पहचान बताएगी और ना ही लोगों से बातचीत करेगी। वह चुपचाप पता लगाएगी की शहर में कितनी स्वच्छता या गंदगी है। इसी स्वच्छता और गंदगी के आधार पर शहर को नम्बर दिए जाएंगे। यदि स्वच्छता दिखी तो नम्बर मिलेंगे अन्यथा कट जाएंगे। वहीं टीम के सदस्य शहर में किसी भी समय और किसी भी स्थान पर जाकर लोगों से स्वच्छता से जुड़े 6 सवाल भी पूछेंगे। जिसमें पिछले एक वर्ष में शहर में स्वच्छता सम्बंधी हुए बदलाव के बारे में पूछा जाएगा। यदि सवालों के जवाब सकारात्मक मिलते हैं तो पूरे अंक मिलेंगे अन्यथा अंक कम मिलेंगे या बिलकुल नहीं मिलेंगे। ऐसे में यदि शहर को नम्बर वन पर लाना है तो शहरवासियों को शहर में स्वच्छता रखते हुए सवालों के जवाब देने के लिए तैयार रहना होगा।
सर्वेक्षण टीम पर संशय बरकरार
-स्वच्छता के भौतिक सत्यापन और नागरिक प्रतिक्रिया के बारे में किसी को ज्यादा जानकारी नहीं
प्रतापगढ़.
शहर में स्वच्छता के लिए नगरपरिषद में दस्तावेजों का सत्यापन हो चुका है। सर्वेक्षण टीम को शहर में स्वच्छता के लिए विभिन्न स्थानों पर जाकर भौतिक सत्यापन भी करना है साथ ही नागरिक प्रतिक्रिया भी जाननी है लेकिन यह टीम भौतिक सत्यापन कर नागरिक प्रतिक्रिया जान चुकी है या अब आएगी। इस सम्बंध में अब तक कुछभ् पता नहीं चल पा रहा है और लोगों में संशय बना हुआ है।
केवल दस्तावेज जांच की जानकारी
शहर में स्वच्छ सर्वेक्षण के लिए 10 जनवरी को टीम का एक सदस्य नगरपरिषद पहुंचा था। उसने तीन दिनों तक शहर में स्वच्छता सम्बंधी किए गए कार्यो आदि दस्तावेजों का सघन निरीक्षण किया। तब से अब तक शहर में भौतिक सत्यापन और नागरिक प्रतिक्रिया जानने वाली टीम के बारे में संशय बरकरार है।
पूछ रहे शहरवासी
सर्वेक्षण टीम को लेकर हर किसी में कौतुहल बना हुआ है। आम शहरवासी भी सर्वेक्षण टीम के बारे में एक-दूसरे से पूछते और इस पर चर्चा करते दिखाई देते हैं। हर कोई जानना चाहता है की सर्वेक्षण टीम आ गई या अब आएगी और आएगी तो कब।
अब आने की संभावना
यूं तो सर्वेक्षण टीम आई या नहीं। इस बारे में किसी को कोई जानकारी नहीं है लेकिन चूंकि सर्वेक्षण टीम को नागरिक प्रतिक्रिया भी जाननी है और शहर से अब तक इस बारे में कोई पुष्ट जानकारी नहीं आ रही है की कोई उनके पास स्वच्छता सर्वेक्षण से जुड़े सफाई सम्बंधी प्रश्नों के बारे में पूछने आया हो। ऐसे में संभावना जताई जा रही है की टीम आने वाले किसी भी दिन आ सकती है।
परीक्षा के लिए रहना होगा तैयार
शहर में स्वच्छता देखने के लिए सर्वेक्षण टीम शहर के विभिन्न आवासीय और व्यावसायिक क्षेत्रों में घूमेगी। टीम बस स्टैंड, सब्जीमंडी, शौचालय, मूत्रालयों में साफ-सफाई की स्थिति भी देखेगी। इस दौरान टीम ना तो अपनी पहचान बताएगी और ना ही लोगों से बातचीत करेगी। वह चुपचाप पता लगाएगी की शहर में कितनी स्वच्छता या गंदगी है। इसी स्वच्छता और गंदगी के आधार पर शहर को नम्बर दिए जाएंगे। यदि स्वच्छता दिखी तो नम्बर मिलेंगे अन्यथा कट जाएंगे। वहीं टीम के सदस्य शहर में किसी भी समय और किसी भी स्थान पर जाकर लोगों से स्वच्छता से जुड़े 6 सवाल भी पूछेंगे। जिसमें पिछले एक वर्ष में शहर में स्वच्छता सम्बंधी हुए बदलाव के बारे में पूछा जाएगा। यदि सवालों के जवाब सकारात्मक मिलते हैं तो पूरे अंक मिलेंगे अन्यथा अंक कम मिलेंगे या बिलकुल नहीं मिलेंगे। ऐसे में यदि शहर को नम्बर वन पर लाना है तो शहरवासियों को शहर में स्वच्छता रखते हुए सवालों के जवाब देने के लिए तैयार रहना होगा।