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जीएसटी को तो नहीं समझ पाए लेकिन पंगा जरूर ले लिया

locationरायगढ़Published: Jul 29, 2017 01:09:00 pm

होटल अंश में जीएसटी को लेकर व्यपारी वर्ग में भ्रांतियों को दूर करने के लिए शिविर आयोजित किया गया।

Did not understand GST but dispute arise

Did not understand GST but dispute arise

रायगढ़. होटल अंश में जीएसटी को लेकर व्यपारी वर्ग में भ्रांतियों को दूर करने के लिए शिविर आयोजित किया गया। इसमें संभाग 2 राज्य कर संयुक्त आयुक्त टीएल धु्रव ,व्यपारी, सीए, एडव्होकेट, और दोनो चेंबर के पदाधिकारी पहुंचे हुए थे। कार्यक्रम की शुरुआत ही गुटबाजी से हो गई।

इस दौरान व्यपारियों का दो खेमा देखने को मिला। शहर में दो चेंबर होने के कारण चेंबर ऑफ कामर्स इंडस्ट्रीज के अध्यक्ष बताने वाले गणेश जगतरामका को विभाग के अधिकारियों ने पहले ही मंच पर बिठा दिया था।

वहीं छत्तीसगढ़ चेंबर ऑफ कामर्स के प्रदेश अध्यक्ष नंदकिशोर अग्रवाल, प्रदेश महामंत्री राजेश और जिला अध्यक्ष राजेंद्र चेंबर व्यपारी वर्ग के साथ बैठे हुए थे।

कार्यक्रम की शुुरुआत होने पर राजेंद्र अग्रवाल ने पहले विभाग द्वारा महज 14 घंटे पूर्व दी गई इस कार्यशाला की सूचना को लेकर आपत्ति दर्ज करवाई वहीं अन्य बातों की भी शिकायत की गई।

ऐसे में जब कार्यक्रम के दौरान विभाग के अधिकारियों को शहर में दो चेंबर होने की बात का पता चला तो मंच पर बैठे चेंबर ऑफ कामर्स एंड इंडस्ट्रीज के अध्यक्ष के रूप में बैठे गणेश जगतरामका को मंच से नीचे जाने के लिए कहा गया। इसके बाद मामला बढ़ गया था।

ये बात सुनने के बाद गणेश जगतरामका ने कहा कि आप लोगों ने सम्मान देकर बुलाया है। ऐसे में यदि मैं मंच से नीचे जाउंगा तो पूरे कार्यक्रम से बाहर चला जाउंगा।

इस पर विभाग के अधिकारियों ने चेंबर ऑफ कामर्स के प्रदेश उपाध्यक्ष नंदकिशोर अग्रवाल व प्रदेश महामंत्री को मंच पर आमंत्रित किया।

इस पर राजेंद्र चेंबर ने आपत्ति दर्ज करवाई मामला थोड़ा गरम होने लगा था। ऐेसे में विभाग की ओर से वाणिज्य कर विभाग की असिस्टेंट कमीश्नर सोनिया नायक ने व्यपारियों के बीच

मतभेद को कार्यक्रम से दूर रखने अपील करते हुए सहयोग करने की बात कही। जिसके बाद उक्त पदाधिकारी भी मंच में पहुंचे और कार्यक्रम शुरू हुआ।

गिनाई समस्या
– चेंबर ऑफ कामर्स के प्रदेश अध्यक्ष नंदकिशोर अग्रवाल ने जीएसटी चालू होने के पूर्व कई व्यापरियों का टीन नंबर कैंसल हो गया है की बात कही, साथ में यह भी कहा कि जब व्यपारी इसका रिन्युअल कराकर जीएसटी नंबर लेना चाह रहे हैं तो नहीं मिल रहा है।

व्यपारी सामानों को विभिन्न ट्रांसपोर्ट के माध्यम से मंगाते हैं इस दौरान कई बार सामान टूट जाता है और कई बार सामान कंपनी को रिटर्न किया जाता है ऐेस में सवाल उठाया गा कि इसका टैक्स रिटर्न कैसे होगा।

3717 का एआरएन– कार्यक्रम के दौरान संभाग 2 राज्य बिलासपुर कर संयुक्त आयुक्त टीएल धु्रव ने व्यपारियों को बताया कि जिले में 9 हजार 354 व्यपारियों का पंजीयन है जिसमें से 7012 व्यपारियों ने जीएसटी के लिए पंजीयन कराया है।

इसमें भी 3 हजार 717 व्यापरियों का ही एआरएन जनरेट हुआ हो पाया है शेष का एआरएन जनरेट नहीं हो पाया है। इसके लिए 991 व्यपारियों का प्रथम लॉग-इन ही नहीं हुआ है। वहीं बताया गया कि जुलाई का जीएसटी भरने के लिए एक माह का समय बढ़ाते हुए 5 सितंबर तक कर दिया गया है।

कार्यशाला में जीएसटी को लेकर तैयार कराए गए प्रेजेंटेशन के माध्यम से व्यपारियों को इसकी बारीकियों के बारे में बताया गया।
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