बकायदा तीन चार किसान भी इस बात की पुष्टि कर रहे हैं कि आज सुबह यानि 12 अक्टूबर की सुबह साढ़े आठ बजे के आसपास उनके मोबाइल पर डीएम-आईओबीसीएचएन की ओर से पैसा जमा किया गया है। विदित हो कि सीएम का कार्यक्रम रायगढ़ में साढ़े ग्यारह बजे से निर्धारित है जिसके तहत सीएम मंच से बोनस तिहार के दौरान बोनस का पैसा किसानों के खाते में ट्रांसफर करेंगे।
लेकिन इससे पहले ही ये किसानों के खाते में आ गया है इस बात की चर्चा जोरों पर है बकायदा इसकी पुष्टि किसान कर रहे हैं। हलांकि इस मामले में अधिकारियों की ओर से यह कहा जा रहा है कि ऐसा नहीं हुआ है तय समय पर ही किसानों के खाते में सीएम के हाथों पैसा ट्रांसफर होगा। इस मामले में खरसिया ब्लाक के ग्राम सोनबरसा के पूर्व जनपद सदस्य चितावर सिदार ने बताया कि जब किसानों के मोबाइल पर यह मैसेज आया तो गांव में खलबली मच गई थी।
इसके बाद अन्य किसानों के मोबाइल में भी इसकी जांच की गई तो पाया गया कि गांव के अनिता सिदार, उदल सिंह राठिया, राजेश डनसेना के खाते में भी पैसा आने का मैसेज उनके मोबाइल पर आया है। किसानों का कहना है कि गांव के कई किसानों के मोबाइल पर बोनस का पैसा आने का मैसेज आय है।
खबर तो पहले से ही उड़ रही थी– इस मामले में सबसे खास बात यह है कि जब किसानों के मोबाइल पर सुबह में मैसेज आया है इसका अर्थ यह लगाया जा रहा है कि पैसा एक दिन पहले यानि कि बुधवार को आ गया है।
इस खबर के उडऩे के साथ ही अपेक्स बैंक के एमडी नागदेव से फोन पर पर इस विषय में पूछा गया तो उनकी ओर से इस मामले में गोल-मोल जवाब दिया गया। इसके बाद इस मामले में रायगढ़ कलक्टर शम्मी आबिदी से भी चर्चा की गई तो उन्होंने भी ऐसे किसी मामले से इंकार किया। उनका कहना था कि बोनस की रकम सीएम के हाथों ही किसानों के खाते में जाएगी।
अब असमंजस की स्थिति– इस मामले में असमंजस की स्थिति बन गई कि क्या वाकई सीएम के बटन दबाने के पहले ही किसानों के खाते में बोनस का पैसा पहुंच गया है। क्योंकि अधिकारी इंकार रहे हैं वहीं किसान इस बात की पुष्टि कर रहे हैं बकायदा जो मैसेज उनके मोबाइल पर आया है उसकी स्क्रीन शॉट भी उपलब्ध करवाई गई है।
तो क्या रस्म है बोनस तिहार– किसानों के अनुसार बोनस की राशि उनके खाते में आ चुकी है। ऐसे में पूरे ताम-झाम के साथ रायगढ़ मिनी स्टेडियम में आयोजित बोनस तिहार केवल रस्म बनकर रह गया है। क्योंकि तैयारी तो इसी बात की थी कि सीएम के हाथों ही बोनस की राशि किसानों के खाते में ट्रांसफर होगी।