scriptअमृतम जलम – श्रम की बूंदों से महक उठी बखराली नाडी ! | Amritam Jalam - The drowsy drops of labor sprouted camber! | Patrika News
जैसलमेर

अमृतम जलम – श्रम की बूंदों से महक उठी बखराली नाडी !

-रूपसी में अमृतम जलम अभियान के तहत श्रम दान करते ग्रामीण।

जैसलमेरApr 22, 2017 / 08:24 pm

jitendra changani

ramgar nadi

ramgar nadi

रूपसी. राजस्थान पत्रिका के मानव मित्र संस्थान की ओर से जल संरक्षण को लेकर चलाए जा रहे अमृतम जलम अभियान के तहत रूपसी गांव में स्थित बखराली नाडी पर श्रमदान के लिए ग्रामीणों की भीड़ उमड़ पड़ी। रूपसी गांव के बुजुर्ग तन सिंह भाटी ने बताया कि जल के बिना जीवन अधूरा है।
 उन्होंने पत्रिका के अभियान की सराहना करते हुए बताया कि आज के आधुनिक युग ने भले ही सरकारी नलकूपों और जलदाय विभाग की ओर से पेयजल के पुख्ता प्रबन्ध कर दिए है, लेकिन बरसाती पानी की उपयोगिता और प्राचीन जल श्रोतों को ध्यान में रखते हुए प्रति वर्ष पत्रिका की ओर से ऐसे अभियान चलाकर संरक्षण की ओर ध्यान दिया जा रहा है। 80 वर्षीय पशुपालक मगसिंह ने बताया कि समय में भले बदलाव आ गया है, लेकिन प्राचीन तालाबों और नाडीयों की उपयोगिता आज भी बरकरार है। सुदूर क्षेत्रों मे ऐसे कई स्थान है, जहां पशुधन के लिए पेयजल की कोई व्यवस्था नही है, वहां अब भी पुराने जल स्त्रोत ही ग्रामीणों और पशुधन का हलक तर करवाने में सहायक है। 
ऐसे में राजस्थान पत्रिका कि ओर से प्रतिवर्ष चलाये जा रहे अभियान से ग्रामीणों का रूझान भी इस ओर बढऩे लगा है और प्राचीन नाडीयां और तालाब बेहद ही उपयोगी साबित हो रहे है। करीब 1 घंटे तक चले श्रम दान अभियान के तहत नाडी के पायतन की खुदाई की गई और नाडी में जमा कचरा और अपशिष्ट पदार्थों को ट्रैक्टर ट्रॉली के जरिये बाहर फैंका गया।
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