भर्ती के नए दिशानिर्देशों के तहत छत्तीसगढ़ राज्य के तीन जिलों बीजापुर, दंतेवाड़ा और सुकमा के आंतरिक क्षेत्रों के 400 आदिवासी युवाओं को रोजगार के अवसर मिलेंगे। केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा शैक्षिक आवश्यकता में छूट के अलावा, भर्ती के लिए शारीरिक मानकों में छूट भी दी जाएगी।
बयान में आगे कहा गया है कि सीआरपीएफ (CRPF) भर्ती किए गए प्रशिक्षुओं को परिवीक्षा अवधि के दौरान अध्ययन सामग्री, किताबें और कोचिंग सहायता प्रदान करने के साथ-साथ "औपचारिक शिक्षा" प्रदान किया जायेगा । हालांकि, सरकार ने कहा कि सीआरपीएफ(CRPF) के प्रशिक्षण के माध्यम से आवश्यक कक्षा 10 की योग्यता हासिल करने के बाद ही उम्मीदवार की सेवा की पुष्टि हो जाएगी।
यदि आवश्यक हो तो परिवीक्षा अवधि उपयुक्त रूप से बढ़ाई जा सकती है, ताकि नए सैनिको को निर्धारित शिक्षा योग्यता प्राप्त करने में सुविधा हो। इसमें कहा गया है कि 10वीं कक्षा की परीक्षा देने के लिए इन भर्तियों को केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा मान्यता प्राप्त राष्ट्रीय मुक्त विद्यालय संस्थान में पंजीकृत कराया जाएगा।
सीआरपीएफ(CRPF) उन कर्तव्यों के लिए आरक्षित है जिनमें कानून और व्यवस्था बनाए रखना, उग्रवाद से निपटना और आंतरिक सुरक्षा बनाए रखना शामिल है।
इससे पहले, छत्तीसगढ़ स्थित बटालियन, बस्तरिया बटालियन 2016-17 में चार आदिवासी बहुल जिलों से अनुसूचित जनजाति के उम्मीदवारों की भर्ती कर रही थी, हालांकि, यह प्रणाली काम नहीं कर रही थी क्योंकि आंतरिक क्षेत्रों के सैनिक कक्षा -10 पास न्यूनतम में दूसरों के साथ प्रतिस्पर्धा नहीं कर सकते यह मांग किया गया था ।