सरकारी बॉन्ड बेचने की तैयारीगौरतलब है कि केंद्र सरकार के धान खरीदने इनकार करने के बाद भूपेश सरकार अपने स्तर पर धान खरीदी की तैयारी कर ली है। राज्य सरकार किसानों से 2500 रुपए प्रति क्विंटल के हिसाब से ही धान खरीदेगी। इसके लिए भूपेश बघेल सरकार अपने सरकारी बॉन्ड बेचने की तैयारी कर रही है। सीएम ने अधिकारियों को तैयारी करने के निर्देश दिए हैं। इस साल धान खरीदी के लिए सरकार को 21 हजार करोड़ की जरूरत है, जिसके लिए वो कर्ज ले रही है। जिसमें से 15 हजार करोड़ रुपए से धान खरीदी की जाएगी और 6 हजार करोड़ रुपए किसानों को बोनस दिया जाएगा।5 से 15 नवंबर तक मोदी सरकार के खिलाफ हल्ला बोलइस साल भूपेश सरकार 85 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी का लक्ष्य रखा है। इसके साथ ही सरकार ने धान खरीदी से पहले मार्कफेड को बारदाना खरीदी और तैयारी करने के लिए 900 करोड़ रुपए भी दिए हैं। धान खरीदी को लेकर केंद्र और छत्तीसगढ़ सरकार आमने-सामने आ गए हैं। बोनस देने पर केंद्र ने धान खरीदने से मना कर दिया है। जिसको लेकर कांग्रेस 5 से 15 नवंबर तक मोदी सरकार के खिलाफ हल्ला बोलेगी। प्रदेशभर में प्रदर्शन किया जाएगा।[typography_font:18pt;” >रायपुर. इस साल भूपेश सरकार 85 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी का लक्ष्य रखा है। जिसके लिए प्रदेश की कांग्रेस सरकार 21 हजार करोड़ रुपए कर्ज लेगी। इसके साथ ही इस वर्ष किसानों को बोनस देने का निर्णय लिया है। इस कर्ज की राशि से 15 हजार करोड़ रुपए से धान की खरीदी की जाएगी और 6 हजार करोड़ रुपए किसानों को बोनस देगी। इसके लिए कैबिनेट ने कर्ज लेने की मंजूरी दे दी है। भाजपा का तंजकांग्रेस कार्यकर्ता किसानों को केंद्र का पत्र दिखाएंगे। जिसको लेकर आज रणनीति बनाई जाएगी। इस संबंध में प्रदेश प्रभारी पीएल पुनिया बैठक लेंगे। जिसमें कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम समेत तमाम कांग्रेस के विधायक मौजूद रहेंगे। कांग्रेस के प्रदर्शन पर भाजपा ने तंज कसते हुए कहा कि प्रदेश सरकार को पहले किसानों की सुध ले लेना चाहिए और इसके बाद ही प्रदर्शन करना चाहिए, क्योंकि अभी तक सरकार ने किसानों की सुध नहीं ली है।