बेहद कम दाम पर सोने खरीदने की सुविधा ने उपभोक्ताओं का ई-गोल्ड की ओर आकर्षण बढ़ाया
ई-गोल्ड की मांग 50 फीसदी बढ़ी

रायपुर. कोरोना वायरस की वजह से पूरी दुनिया में हाहाकार मचा हुआ है। भारत समेत दुनिया के कई देशों में तेजी से फैल रहा है। लेकिन इन दिनों सोने में गिरावट देखने को मिल रही है। ऐसे में अगर आप सोना खरीदने का मन बना रहे है तो अच्छा समय है। घर बैठे आसानी से आप ऑनलाइन सोना खरीद सकते है। दूसरी तरफ आपको ये भी बता दें कि त्योहारों का सीजन भी नजदीक आ रहा है। ऐसे में तो सोना खरीदना बनता है। वैसे भी सोने के लिए भारतीयों का प्यार किसी से छुपा नहीं है। लोग इसे इस्तेमाल और निवेश दोनों के लिए खरीदते हैं। तो आप भी इस लॉकडाउन में सोने की खरीदारी या निवेश करने पर भी विचार कर सकते हैं।
वहीं कोरोना के शुरू होने के बाद ई-गोल्ड की मांग 50 फीसदी बढ़ी है। हालांकि, इससे सराफा कारोबारियों यानी ज्वेलर्स का संकट बढ़ गया है। विशेषज्ञों का कहना है कि ऑनलाइन सोने की बिक्री में नामचीन और भरोसेमंद कंपनियों के आने और बेहद कम दाम पर सोने खरीदने की सुविधा ने उपभोक्ताओं का ई-गोल्ड की ओर आकर्षण बढ़ा है। ई-गोल्ड में तीन कंपनियां भारत में कारोबार कर रही हैं। सरकारी क्षेत्र की कंपनी एमएमटीसी और स्विट्जरलैंड की कंपनी एमकेएस पीएएमपी अपने संयुक्त उद्यम एमएमटीसी-पीएएमपी के जरिये ई-गोल्ड बेच रही है।
जबकि सेफ गेल्ड के साथ साझेदारी में डिजिटल गोल्ड इंडिया ई-गोल्ड में कारोबार कर रही है। वहीं अवुगमाउंट गोल्ड भी ई-गोल्ड के बढ़ते बाजार में हाथ आजमा रही है। इन तीनों ई-गोल्ड कंपनियों ने भारत में कई ई-वॉलेट कंपनियों से करार कर रखा है जिसके जरिये उपभोक्ता सोना खरीद सकते हैं। इसमें पेटीएम, गूगल पे, कुबेरा, फोनपे और अमेजन पे सहित कई नाम शामिल हैं।
ई-गोल्ड खरीदने पर कंपनियां आपको घर पर सोना पहुंचाने की सुविधा देती हैं। इसमें मात्रा तय होती है। उस तय मात्रा में आपके खाते में सोना हो जाने पर आप उसे घर मंगा सकते हैं। इसके बदले कंपनियां अतिरिक्त शुल्क वसूलती हैं। आप जो सोना ई-गोल्ड के जरिये खरीदते हैं कंपनियां उसे अपने लॉकर में रखती हैं और उसके लिए भी खरीदार से शुल्क वसूलती हैं। ई-गोल्ड के तहत खरीदा गया सोना एक तय अवधि के भीतर उसी कंपनी को बेच भी सकते हैं। इसमें केवल मार्जिन शुल्क चुकाना होता है जो दो से तीन फीसदी तक होता है।

- सोने पर कितना टैक्स
03 फीसदी सोने पर जीएसटी के रूप में लगता है टैक्स
05 पांच फीसदी सोने की ज्वेलरी के मेकिंग चार्ज पर जीएसटी के रूप में टैक्स
20 फीसदी एलटीसीजी गोल्ड ईटीएफ में लगता है मुनाफे पर
2.5 फीसदी ब्याज मिलता है गोल्ड बॉन्ड पर जिसपर आयकर श्रेणी के अनुसार टैक्स
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