scriptछत्तीसगढ़ में साइबर अपराध बढ़ा डेढ़ गुना, जागरूकता ही बचाव | Cyber crime increased in Chhattisgarh, awareness is the only defense | Patrika News

छत्तीसगढ़ में साइबर अपराध बढ़ा डेढ़ गुना, जागरूकता ही बचाव

locationरायपुरPublished: Oct 24, 2019 06:25:56 pm

Submitted by:

Dhal Singh

नेशनल क्राइम रिकार्ड ब्यूरो (एनीआरबी) की ओर से हाल ही में जारी आंकड़ों के मुताबिक छत्तीसगढ़ में साइबर अपराध में डेढ़ गुना बढ़ोतरी हुई है। यहां पिछले दो वर्ष की तुलना में69 केस अधिक दर्ज किए गए हैं। इससे बचाव का एकमात्र तरीका जागरूकता है।

छत्तीसगढ़ में साइबर अपराध बढ़ा डेढ़ गुना, जागरूकता ही बचाव

छत्तीसगढ़ में साइबर अपराध बढ़ा डेढ़ गुना, जागरूकता ही बचाव

रायपुर. छत्तीसगढ़ साइबर अपराधियों का गढ़ बनता जा रहा है। प्रदेश पुलिस के साथ नेशनल क्राइम रिकार्ड ब्यूरो की रिपोर्ट ने भी इस बात की पुष्टि की है। साइबर अपराध के मामलें में देश में छत्तीसगढ़ 14वे पायदान में है। प्रदेश पुलिस के अधिकारियों की माने तो साइबर अपराधियों के प्रति लोग यदि जागरूक नहीं हुए और नई तकनीकी साइबर ठगों के खिलाफ पुलिस को नहीं मिली, तो आंकड़ा और भी खतरनाक हो सकता है।
नेशनल क्राइम रिकार्ड ब्यूरों ने एक साल बाद देरी करके दो दिन पहले 2017 के आंकड़े जारी किए। आंकड़ो में साइबर अपराध की घटनाओं छत्तीसगढ़ में वर्ष 2017 में 2016 की अपेक्षा डेढ़ गुना अपराध बढ़ा है। देश में 2017 में साइबर अपराध की घटनाएं 21 हजार 796 है। छत्तीसगढ़ में साइबर अपराध 171 दर्ज हुआ है। 2015-17 में देश भर में साइबर अपराध हुए 45 हजार 705 आंकड़ों की माने तो देश भर में वर्ष 2015 से 2017 तक 45 हजार 705 साइबर अपराध की घटनाएं हुई है। साल 2015 में देश में 11 हजार &&1, साल 2016 में 12 हजार 187 और साल 2017 में 21 हजार 59& साइबर क्राइम दर्ज किए हैं। आंकड़ो की माने तो तीन साल में साइबर अपराध देश भर में 1.7 फीसदी की दर से बढ़ा है।
साइबर अपराध के प्रकार
स्पैम ईमेल, हैकिंग, फिशिंग (जानकारी समाप्त करना ), वायरस फैलाना, सॉफ्टवेयर पाइरेसी, फर्जी बैंक कॉल करना, सोशल नेटवर्र्किंग साइटों पर अफवाह फैलाना, साइबर बुलिंग (सोशल मीडिया में कमेंट और धमकी देना ), जानकारी चोरी करना, जानकारी मिटाना, फेर बदल करना, बाहरी नुकसान पहुंचाना। यह सभी काम साइबर अपराध की श्रेणी में आते है।
इस तरह बचें साइबर ठगों से
कंप्यूटर, मोबाइल व सोशल मीडिया के लिए मजबूत पासवर्ड बनाएं। नवीनतम एंटी वायरस एवं फायर बॉल का प्रयोग करें। केवल विश्वसनीय वेबसाइट से ही नि:शुल्क सॉफ्टवेयर डाउनलोड करें। महत्वपूर्ण डाटा का नियमित बैकअप जरूर रखें। मोबाइल का 15 अंकों का ईएमईआई नंबर अपने पास सुरक्षित रखें। मोबाइल को पैटर्न लॉक/फिंगर प्रिंट लॉक पासवर्ड युक्त रखें। 8 वर्ड का पासवर्ड बनाए। पासवर्ड में अपर व लोअर केस, संख्या व स्पेशल कैरेक्टर का प्रयोग करें। पैसे निकासी के बाद की-बोर्ड का कैंसिल बटन जरूर दबाएं। व्हाटसएप के प्राइवेसी सेटिंग में अपनी प्रोफाइल पिक्चर को रेस्ट्रीकट रखें। इन कामों को ना करेंफाइल शेयरिंग ऑप्शन को बंद करना न भूलें। लैपटॉप व डेस्कटॉप को कभी भी असुरक्षित न छोड़ें। किसी सॉफ्टवेयर का पायरेटेड कॉपी का इस्तेमाल नहीं करें। अनजान डिवाइस को अपने कंप्यूटर के साथ न जोड़ें। अपने मोबाइल को कभी भी असुरक्षित न छोड़ें। मोबाइल एप्लीकेशन को अनावश्यक ऑन नहीं रखें। पूर्व में प्रयोग किए गए पासवर्ड का दोबारा प्रयोग न करें। पासवर्ड अपने नाम, जन्मतिथि, जन्मस्थान से न बनाएं। भुगतान के समय कार्ड स्वाइप मशीन का प्रयोग खुद करें। व्यक्तिगत फोटो या जानकारी सोशल साइट पर साझा न करें।
एएसपी रायपुर प्रफुल्ल ठाकुर ने बताया, साइबर अपराध की घटनाएं कम हो इसलिए रायपुर पुलिस द्वारा मिशन ई-रक्षा चलाकर लोगों को जागरूक किया जा रहा है। लोगों से भी अपील है कि जागरूक रहे और लालच में पड़कर साइबर अपराधियों के शिकार ना बने। लगातार साइबर ठगों के खिलाफ अभियान चलाकर हम कार्रवाई भी कर रहे है।
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो