वर्तमान में राज्य में स्थापित चार लैबों एम्स, रायपुर के डॉ. भीमराव अंबेडकर स्मृति चिकित्सालय तथा जगदलपुर व रायगढ़ मेडिकल कॉलेज के माध्यम से रोज तीन हजार से अधिक सैंपलों की जांच हो रही है। आरटीपीसीआर जांच के लिए इन चारों लैब में पर्याप्त मात्रा में किट उपलब्ध हैं। रायपुर के लालपुर स्थित लैब में भी ट्रू-नॉट विधि से सैंपलों की जांच की जा रही है।
प्रदेश में अब तक 55 हजार से अधिक कोविड-19 संभावितों के सैंपल की जांच हो चुकी है। राजनांदगांव, बिलासपुर और अंबिकापुर के शासकीय मेडिकल कॉलेजों में भी कोरोना वायरस जांच के लिए आईसीएमआर के मानकों के अनुरूप बीएसएल-2 लैब की स्थापना का काम जोरों पर हैं। उधर मुख्यमंत्री राहत कोष से सभी जिलों को 25-25 लाख और विकासखंडों को 10-10 लाख रूपए जारी किए गए हैं।
निजी अस्पतालों के अधिग्रहण की तैयारी
मरीजों की बढ़ती संख्या को देखते हुए प्रदेश के कोविड-19 अस्पतालों को अलर्ट कर दिया गया है। क्योंकि कभी भी, कहीं भी मरीजों को शिफ्ट किया जा सकता है। अभी इलाज के लिए 1760 और अन्य अस्पतालों में 1586 बिस्तरों की व्यवस्था है। प्रदेश के 115 आइसोलेशन सेंटर्स में भी 5515 बिस्तर हैं, जहां कोविड-19 का उपचार किया जा सकता है। इस तरह कुल 8801 बिस्तरों पर अभी इलाज की व्यवस्था है। आवश्यकता पडऩे पर निजी अस्पतालों का भी अधिग्रहण कर इलाज की तैयारी है।