मगर, दाखिला छत्तीसगढ़ के मेडिकल कॉलेजों की राज्य कोटा सीट पर लिया। नियमानुसार 1 अभ्यर्थी के पास एक ही मूल-निवासी प्रमाण-पत्र हो सकता है।पत्रिका’ ने सबसे पहले 20 नवंबर को इस प्रकरण का खुलासा किया था। जिसके बाद से अब तक इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की छत्तीसगढ़ इकाई 22 छात्रों के विरुद्ध सीधे मुख्यमंत्री को लिखित शिकायत की है।
जिसमें छात्र का नाम, उसने छत्तीसगढ़ के अलावा और किस राज्य की काउंसिलिंग में हिस्सा लिया, वर्तमान में छात्र-छात्रा का पूरा पता, जो छत्तीसगढ़ का नहीं है। 28 नवंबर को इस प्रकरण में संचालक डॉ. आरके सिंह ने सभी मेडिकल कॉलेज डीन को चिट्ठी लिखकर, कहा- ‘आप संदेही छात्रों के दस्तावेज की जांच के लिए जिला कलेक्टर को पत्र लिखें।’ सूत्रों के मुताबिक इनमें से 3 छात्र रायपुर और 2 राजनांदगांव के बताए जा रहे हैं। इनके अतिरिक्त और भी छात्रों के नाम हो सकते हैं।
क्या होता है कंफर्मेशन सर्टिफिकेट : ‘नीट’ के ऑनलाइन फॉर्म में राज्य के प्रिफरेंश का विकल्प होता है। यानी आप किस राज्य में अध्ययन करना चाहते हैं। आप उसी राज्य में अध्ययन करेंगे जिस राज्य का आपके पास मूल-निवासी है। मगर, छात्रों ने फॉर्म में किसी अन्य राज्य का जिक्र किया, जैसे पश्चिम बंगाल, महाराष्ट्र, गुजरात, राजस्थान, बिहार, मप और उप्र।