आज मनाया जा रहा है ग्लोबल हैंड वाशिंग डे, बच्चे-जवान जान रहे हैं इसका महत्व
रायपुरPublished: Oct 15, 2019 02:27:23 pm
स्वच्छता को लेकर देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के स्वच्छ भारत अभियान को ग्लोबल हैंडवॉश डे से और गति मिलेगी। पूरी दुनिया में १५अक्टूबर को ग्लोबल हैंडवाशिंग दिवस मनाया जाएगा। छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिलों में आंगनवाड़ी और स्कूलों में भी इस खास दिन इस बारे में जागरूक किया जाएगा। राज्य सरकार इससे सुपोषण माह से भी जोड़ रही है।
आज मनाया जा रहा है ग्लोबल हैंड वाशिंग डे, बच्चे-जवान जान रहे हैं इसका महत्व
आज मनाया जा रहा है ग्लोबल हैंड वाशिंग डे, बच्चे-जवान जान रहे हैं इसका महत्व रायपुर. स्वच्छता को लेकर देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के स्वच्छ भारत अभियान को ग्लोबल हैंडवॉश डे से और गति मिलेगी। पूरी दुनिया में १५अक्टूबर को ग्लोबल हैंडवाशिंग दिवस मनाया जाएगा। छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिलों में आंगनवाड़ी और स्कूलों में भी इस खास दिन इस बारे में जागरूक किया जाएगा। राज्य सरकार इससे सुपोषण माह से भी जोड़ रही है।
हैंड वाशिंग एक्टिविटीज को मनाने के साथ-साथ सुपोषण चौपालों के अंतर्गत पोषण दिवस के दौरान स्वच्छता एवं स्वच्छ पेयजल विषय को पोषण के साथ जोड़ते हुए गर्भवती महिलाओं, बच्चे, पति, और माता-पिता के साथ परिवार के अन्य सदस्यों को हाथ धुलाई अभियान का संदेश भी दिया जाएगा। कृषक समूह की बैठकों के आयोजन में भी हाथ धुलाई का संदेश दिया जाएगा । सुपोषण कार्यक्रम के अंतर्गत आंगनवाड़ी कार्यकर्ता, मितानिन द्वारा गृह भेंट एवं परिवार को स्वच्छता एवं स्वच्छ पेयजल विषय पर परामर्श देने की गतिविधियां भी की जाएंगी।
१५ अक्टूबर को आँगनवाडियों पर ग्लोबल हैंड वाशिंग दिवस मनाया जाएगा। सुपोषण के प्रमुख संदेशों को प्रसारित किया जा रहा है और अनुशंसित गतिविधियों को जमीनी स्तर पर ले जाया जा रहा है जिसमें सुपोषण पर महत्वपूर्ण संदेश जैसे स्तनपान की शुरुआती दीक्षा के साथ 06 घंटे तक स्तनपान, 06 महीने से पूरक आहार, आहार की विविधता, पूरक आहार समय पर टीकाकरण और स्वच्छता और स्वच्छता आदि को कवर किया जा रहा है ।
कई आंगनबाड़ी केन्द्रों में 6 माह की आयु के बच्चों का अन्नप्रासन्न भी करवाया जाएगा । सुपोषण मेले में स्कूली छात्रओं की मौजूदगी में सुपोषण क्विज का आयोजन भी किया जायेगा और किशोरियों को उचित खान पान एवं आयरन की गोलियां खाने की सलाह दी जायेगी। सभी नागरिक को स्वस्थ जीवन के लिए स्वच्छता जरूरी है। अच्छी एवं स्वस्थ्य आदत का विकास बच्चों में इन्ही संस्थाओं द्वारा बीजारोपित किया जाता है। उन्होंने कहा कि स्वच्छ जीवनशैली एवं संतुलित पोषाहार ही इंसान को बीमारी एवं कुपोषण से बचाता है।
गंदे हाथ बच्चों में डायरिया और निमोनिया का एक प्रमुख कारण है7 इन दो बीमारियों के कारण लाखों बच्चे अपने जान गँवा देते हैं।केवल हाथों को साफ़ रखने से ही इन बच्चों को बचाया जा सकता हैं।
–