scriptतंत्र के गण में IAS विनीत निभा रहे अहम भूमिका, शिक्षाकर्मी की परीक्षा में हुए फेल, IAS बन पेश की मिसाल | IAS Vineet Nandanwar is playing an important role in Gantantra | Patrika News

तंत्र के गण में IAS विनीत निभा रहे अहम भूमिका, शिक्षाकर्मी की परीक्षा में हुए फेल, IAS बन पेश की मिसाल

locationरायपुरPublished: Jan 26, 2021 07:46:10 pm

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CG Desk

– शिक्षाकर्मी की परीक्षा में फेल हुए, आईएएस पास कर पेश की मिसाल, नशे में गर्त युवाओं को सुधार रहे .- राज्य बनने के बाद बस्तर संभाग के पहले आईएएस, विनीत नंदनवार ने बताई अपनी संघर्ष की कहानी .

गण के तंत्र में IAS विनीत निभा रहे अहम भूमिका, शिक्षाकर्मी की परीक्षा में हुए फेल, IAS  बन पेश की मिसाल

गण के तंत्र में IAS विनीत निभा रहे अहम भूमिका, शिक्षाकर्मी की परीक्षा में हुए फेल, IAS बन पेश की मिसाल

रायपुर। अब सुकमा का ही बेटा वहां कलेक्टर बन कर पहुंचा तो यहां के सीधे-साधे लोगों के आखों में सपने चमकने लगे हैं। सुकमा जहां से कुछ साल पहले एक आईएसएस का नकसलियों नें अपहरण कर लिया था। वहां अपने बचपन के दिनों की तरह मोटर साइकल में घूम-घूम कर लोगों तक सरकार की योजनाएं पहुंचना। इसके अलावा नशे के गर्त में डूबे युवाओं को स्वास्थ के प्रति जागरुक करना सुकमा कलेक्टर विनीत नंदनवार का अभियान बन गया है।
विनीत को खुद ही बॉडी बिल्डिंग का शौक है। जब वो एक कलेक्टर के रुप में सुकमा पहुंचे तो युवाओं में शराबखोरी की लत को देख कर बदलाव की शुरू आत की। क्षेत्र में एक जिम शुरु किया। जिसमें सौ से ज्यादा युवा रोज सुबह शाम पहुंच रहे हैं। विनीत का कहना कि वो ऐसे युवाओं की टीम बनाएंगे जो सरकार की योजनाओं को लोगों तक पहुंचाने में प्रशासन की मदद करेंगे। लेकिन इसके लिए उनका इस नशे की लत से बाहर जाना जारूरी था। जब सुकमा पहुंचे तो युवाओं को अपने शिक्षा प्रति गंभीर न देख व नशे में लिप्त देख कर उन्होंने इसे अभियान के रुप में लिया।

सुकमा पहुंचते ही आईएएस बनने का सपना बढ़ा
सुकमा में पहुंचे हुए विनीत को तीन माह हो रहे हैं। जिसके बाद युवाओं की अच्छी टीम उन्होंने तैयार कर ली है। जस जगह से लोग नक्सली बननी की सीख मिलती थी, वहां अब आईएएस बनने का सपना युवाओं के आखों में दिखने लगा है। इतना ही नहीं खुद भी वो गांव-गांव जाकर आम जनता से मिल कर उनकी समस्याएं सुन रहे हैं।

गण के तंत्र में IAS विनीत निभा रहे अहम भूमिका, शिक्षाकर्मी की परीक्षा में हुए फेल, IAS बन पेश की मिसाल

खुद के अथक प्रयास से
उनका जन्म महारानी अस्पताल जगदलपुर में हुआ। बस्तर हाई स्कूल में प्रारंभिक शिक्षा व धरमपुरा कॉलेज में स्नातक हिन्दी माध्यम से हुई। वर्ष 2004 में शिक्षाकर्मी के साक्षात्कार में फेल हो गए। उन्होंने कहा कि असफला से हम कभी हारते नहीं है, हारते वह है जो प्रयास करना छोड़ देते है। सफल व्यक्ति आंतरिक रूप से हमेशा प्रेरित होते रहते है। किसी भी सफलता के लिए मार्गदर्शक होना आवश्यक है। एक रास्ता बंद हो जाए तो दूसरा, फिर तीसरी योजना में कार्य करना चाहिए। तीन बार आईएएस की परीक्षा में फेल हुए, फिर भी लगातार पांच वर्षों से लगातार दस-बारह घंटे पढ़ाई किया फिर वर्ष 2013 में छत्तीसगढ़ कैडर के आईएएस बने। रायपुर में अपर कलेक्टर के पद पर रहने के बाद सुकमा के कलेक्टर का पदभार संभाले हुए हैं। सुकमा पोस्टिंग होने के बाद से खुद ही गांवगांव बाइक से घूम-घूम कर लोगों को सरकारी योजनाओं के बारे में बताना और आखरी व्यक्ति तक लाभ पहुंचाने का संकल्प पूरा कर रहे हैं।

गण के तंत्र में IAS विनीत निभा रहे अहम भूमिका, शिक्षाकर्मी की परीक्षा में हुए फेल, IAS बन पेश की मिसाल

सही समय और सही दिशा में सार्थक प्रयास जरूरी
सफलता के लिए सपने देखना होगा, बशर्ते सपने को सच करने के लिए संघर्ष भी जरूरी है। धैर्य बनाकर सही समय, सही दिशा में सार्थक प्रयास से सफलता अवश्य हासिल होगी। दस किताब पढऩे के स्थान पर एक किताब को दस बार


सवाल: अधिक अंक आने पर ही सफलता मिलती है ?
जवाब: अंक भले ही आज की जरूरत है, पर यह सफलता की अंतिम सीढ़ी नहीं है। मैंने भी कई बार 80 या 90 प्रतिशत अंक हासिल नहीं किए, मेहनत की और आइएएस बना।
सवाल: सफलता के लिए क्या प्रयास करना चाहिए ?
जवाब: सफलता के लिए सपने देखने होंगे। धैर्य बनाकर सही समय, सही दिशा में सार्थक प्रयास से सफलता अवश्य हासिल होगी।

सवाल: अच्छा स्कूल होना अच्छी शिक्षा के लिए जरुरी है ?
जवाब: मेरा जन्म जगदलपुर में हुआ और बस्तर हाईस्कूल से प्रारंभिक शिक्षा और धरमपुरा कालेज में स्नातक हिंदी माध्यम से हुई। अच्छा या बुरा स्कूल नहीं होता है, हमारे शिक्षक जो हमें पढ़ाते हैं, उसे दिल-दिमाग में रखें और सफलता की ओर खुद को अग्रसर करें।
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