इनकी हो रही जांच
आयकर विभाग की टीम कारोबारियों की सभी फर्मों में लेनदेन के दस्तावेज, कम्प्यूटर, कैश बुक, स्टॉक का मूल्यांकन, निर्मित एवं अर्धनिर्मित मॉल, खरीदी-विक्रय और आय-व्यय की जांच कर रहे हैं। साथ ही उनकी चल-अचल संपत्ति और घरों से बरामद ज्वेलरी, बैंक खाते, फिक्स डिपॉजिट, शेयर, निवेश से संबंधित कागजात, बैंक लॉकर के दस्तावेज और जमीन खरीदी की जांच की जा रही है।
इतनी फर्में निशाने पर
कारोबारी ग्रुप के द्वारा पॉवर प्लांट, स्टील एवं सरिया, कोलवॉशरी, रियल एस्टेट, ट्रांसपोर्ट सहित उससे जुड़ी हुई आधा दर्जन से अधिक फर्मों का संचालन किया जाता है। इसमें 15 से अधिक संचालक जुड़े हुए हैं। वे बड़े उद्योगों और बड़ी फर्मों को कोयला, सरिया और कच्चेमाल की आपूर्ति करते हैं। बताया जाता है कि ज्यादातर संचालकों के राज्य से बाहर होने के कारण उनसे पूछताछ नहीं हो पाई है।
दूसरी बार छापेमारी की कार्रवाई
करोड़ों रुपए के टर्नओवर वाली कंपनियों के ठिकानों पर दूसरी बार छापेमारी की गई है। इससे पहले वर्ष 2011 में अन्वेषण विभाग ने दबिश दी थी। इस दौरान करोड़ों रुपए की टैक्स चोरी पकड़ी गई थी। बता दें कि वित्तीय वर्ष 2018-19 में आयकर विभाग की यह सबसे बड़ी कार्रवाई है।