देशभर में सभी चरणों का लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election) खत्म हो चुका है। चुनाव (Election) के खत्म होते की एग्जिट पोल (Exit Poll) का सिलसिला शुरू हो चुका है। 11 सीटों पर हुए मतदान (Voting) के बाद एक महीने से प्रत्याशियों का भविष्य ईवीएम (EVM) में बंद है। जब ईवीएम (EVM) खुलेंगी तो प्रदेश में दोनों पार्टियों कांग्रेस (Congress) और भाजपा (BJP) के लिए खुश और निराश होने के पर्याप्त कारण रहेंगे।
एग्जिट पोल से आ रहे नतीजों में कांग्रेस को फायदा, लेकिन उम्मीदों पर फिर सकता है पानी
रायपुर. छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) में लोकसभा (Lok Sabha) के लिए तीन चरणों में 11 सीटों पर हुए मतदान (Voting) के बाद एक महीने से प्रत्याशियों का भविष्य ईवीएम (EVM) में बंद है। जब ईवीएम (EVM) खुलेंगी तो प्रदेश में दोनों पार्टियों कांग्रेस (Congres) और भाजपा (BJP) के लिए खुश और निराश होने के पर्याप्त कारण रहेंगे। दरअसल जिन मुद्दों के साथ पिछले साल दिसंबर में कांग्रेस (Congress) 15 साल बाद राज्य की सत्ता में आई थी, वह पूरी तरह से लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election) में काम नहीं आया।
कांग्रेस (Congress) के पास खुश होने की वजह यह होगी कि जहां पिछले तीन लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election) से उसके पास एक सीट रहा करती थी तो इस बार यह संख्या बढकऱ चार हो सकती है। निराश होने का कारण यह है कि सिर्फ पांच महीने पहले जिस तरह विधानसभा चुनाव (Vidhan Sabha Election) में कांग्रेस (Congress) ने क्लीन स्वीप किया था, उससे उम्मीद जताई जा रही थी कि 8 से 10 सीट जीत सकते हैं।
कर्ज माफी (Debt Relief) , बिजली बिल हाफ (Bijli Bill Half) समेत अन्य मुद्दे लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election) में ज्यादा काम नहीं आए। वहीं बात भाजपा (BJP) की करें तो खुश होने के लिए काफी है कि लोकसभा चुनाव (Lok Sabah Election) में विधानसभा चुनाव (Vidhan Sabha Election) की बहुत ज्यादा छाप नहीं पडऩे दिए। कांग्रेस (Congress) को सभी जगह कड़ी टक्कर दिए और चार-पांच महीनों से जितना कमजोर भाजपा (BJP) को बताया जा रहा था, उतना मैदान में होने नहीं दिए। सात सीट भाजपा (BJP) के खाते में जाती दिख रही है। और इसकी एक मात्र वजह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) की छवि है।
छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) में भाजपा (BJP) को जो भी सात सीट मिलने की उम्मीद है, वह केंद्र में मजबूत सरकार और मजबूत प्रधानमंत्री (PM Modi) के नाम पर मिलेगी। क्योंकि पुराने सभी सांसदों का टिकट काटकर जिन नए चेहरों पर दांव लगाया गया था, उनकी छवि इतनी दमदार नहीं थी कि भाजपा (BJP) को सीट दिला पाते। भाजपा (BJP) के लिए दुखी होने की वजह यह हो सकती है कि अब तक यहां पार्टी 10 सीट जीत रही थी लेकिन इस बार संख्या घट जाएगी।