रायपुर शहर में आज के दिन में ऐसा कोई क्षेत्र नहीं है जहां कोरोना की दस्तक नहीं हुई है। हर आयुवर्ग के लोग इस बीमारी की गिरफ्त में आ रहे हैं। बावजूद इसके नियमों को तोड़ने से भी कोई घबरा भी नहीं रहा है। लोगों में मास्क लगाकर निकलने की आदत खत्म होती दिखाई दे रही है। बाजारों में सोशल डिस्टेंसिंग, फिजिकल डिस्टेंस सिर्फ नाम के लिए ही रह गई है। उसका न दुकानदार पालन कर रहे हैं न ग्राहक। अब तक मॉल, धार्मिक स्थल, उद्यान खोल चुके हैं। खुलने बाकि है तो सिनेमा घर और बार।
अब कोरोना के नियंत्रण की दशा में ठोस और कड़े फैसले लेने की जरूरत है। आम से लेकर खास लोगों के सुझाव- भले ही केंद्र सरकार न लेना ले, मगर छत्तीसगढ़ शासन प्रशासन के लॉकडाउन के नियमों को सख्ती से पालन करवाने का निर्णय ही सकता है। क्योंकि बगैर कढ़ाई के कोरोना संक्रमण का फैलाव रोकने वाला नहीं है। 1 जून से लागू अनब्लॉक में ढील देकर इसका अनुभव किया जा चुका है। कम से कम रायपुर सेमें उन शहरों में जहां हालात नियंत्रण से बाहर होते दिख रहे हैं। बतौर उदाहरण तेलंगना सरकार ने अपने कुछ जिलों में अनलॉक में भी लॉकडाउन लगा कर रखा था।