फिर आरोपी ने डॉक्टर को क्यूआर कोड से पेमेंट नहीं हो रहा रहा कहकर आरोपी ने अपने क्रेडिट कार्ड से पेमेंट करने की बात की और आरोपी ने अपने क्रेडिट कार्ड का नंबर प्रार्थी के पे-टीएम एकाउंट से जुड़वाया, जिसे प्रार्थी ने जोड़ दिया और प्रार्थी ने मोबाइल धारक के बताए अनुसार पूरा प्रोसेस किया। इसके बाद ही प्रार्थी के अकाउंट से 6 बार में 1 लाख रुपये निकल गए। जिसमें से पुलिस ने 80 हजार 100 रुपये रिकवर कर लिए और प्रार्थी को लौटा दिए।
बिजली बिल जनरेट के बहाने लुटे पैसे
शंकर नगर निवासी रेणु ठाकुर ने थाने में शिकायत दर्ज कराई। शिकायत में उन्होंने लिखा की उनके मोबाइल पर कुछ दिन पहले अनजान नंबर से मैसेज आया थी की आपका बिजली बिल जेनेरेट नहीं हो पा रहा है, जेनेरेट करने के लिए नीचे दिए लिंक पर क्लिक करे और लिंक पर क्लिक करते ही कुछ प्रोसेस सामने आया उन सारे प्रोसेस में कार्ड डिटेल डालने की ज़रुरत पड़ी।
डिटेल डालने के बाद कार्ड से सीधे 1 लाख 75 हजार रूपए कट गए। पुलिस ने मामले की जांच की और आरोपियों को ढून्ढ निकला और प्रार्थी के निकले गए पैसे 1 लाख 75 हजार वापिस लौटा दिए। शहर में ऐसे मामले लगभग रोज़ ही आते है और इन मामलों के आरोपी जल्दी नहीं मिलते।