scriptposts of 1.25 lakh teachers in government schools are still vacant | क्वालिटी एजुकेशन का फूटा ढोल: सरकारी स्कूलों में सवा लाख शिक्षकों के पद अभी खाली, रिक्त पद भरने पर फोकस नहीं | Patrika News

क्वालिटी एजुकेशन का फूटा ढोल: सरकारी स्कूलों में सवा लाख शिक्षकों के पद अभी खाली, रिक्त पद भरने पर फोकस नहीं

locationरायपुरPublished: Nov 08, 2022 06:41:10 pm

Submitted by:

mohit sengar

विभागीय अधिकारियों के इस सब प्रयासों के बाद भी छात्रों को उत्कृष्ट शिक्षा (क्वालिटी एजुकेशन) नहीं मिल पा रही है। इस मुद्दे पर पत्रिका की पड़ताल में चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। विभागीय दस्तावेजों और सूत्रों के अनुसार प्रदेश के सरकारी स्कूलों में 1 लाख 33 हजार 882 पदों में प्राचार्य, व्याख्याता और शिक्षक पदस्थ नहीं है।

ranking_of_schools.png

सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले छात्रों को उत्कृष्ट शिक्षा मिले, इसलिए स्कूल शिक्षा विभाग के अधिकारी हर बैठक में अधीनस्थों को छात्रों को नवाचारी शिक्षा देने की सलाह देते हैं। छात्रों की आंकलन की स्पष्ट जानकारी विभागीय अधिकारियों को हो सके, इसलिए हर माह परीक्षा ली जाती है और उसके नंबरों की रिपोर्ट वरिष्ठ अधिकारियों को भेजी जाती है।

विभागीय अधिकारियों के इस सब प्रयासों के बाद भी छात्रों को उत्कृष्ट शिक्षा (क्वालिटी एजुकेशन) नहीं मिल पा रही है। इस मुद्दे पर पत्रिका की पड़ताल में चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। विभागीय दस्तावेजों और सूत्रों के अनुसार प्रदेश के सरकारी स्कूलों में 1 लाख 33 हजार 882 पदों में प्राचार्य, व्याख्याता और शिक्षक पदस्थ नहीं है। ये पद लंबे अर्से से रिक्त पड़े हैं और इन्हें भरने के लिए विभागीय अधिकारी गंभीरता से प्रयास नहीं कर पा रहे हैं। कुल 38 फीसदी रिक्त पद होने का असर अन्य शिक्षकों पर पड़ रहा है।

ग्रामीण इलाकों में दो से तीन शिक्षकों के भरोसे स्कूल: शहरी इलाकों में शिक्षकों की संख्या संतोषजनक स्थिति में है, लेकिन ग्रामीण इलाको में प्राचार्य, व्याख्याता और शिक्षक के पदों का आंकड़ा चौंकाने वाला है। प्रदेश के कई स्कूलों में दो या तीन स्टाफ के भरोसे शिक्षा व्यवस्था चल रही है। कई बार गुरूजी अवकाश में होते हैं, तो छात्रों के लिए स्कूल बंद कर दिया जाता है। ग्रामीण इलाके के कई स्कूलों में प्राचार्य नहीं है। प्रभारी के भरोसे ही इन स्कूलों में पढ़ाई लंबे अरसे से हो रही है।

स्कूल शिक्षा विभाग के रिक्त पदों को भरने के लिए 10 हजार भर्ती आने वाले दिनों में की जाएगी। सीएम ने इसके लिए निर्देश जारी किया था। हमने रिक्त पदों की भर्ती करने के लिए कमेटी बनाई है। कमेटी अपने स्तर पर तैयारी कर रही है। आने वाले दिनों में भर्ती प्रक्रिया शुरु की जाएगी।
डॉ. सुनील जैन, संचालक, लोक शिक्षण संचालनालय

रायपुर सहित कई जिलों का बिगड़ रहा रेकॉर्ड
प्रदेश के शासकीय स्कूलों में प्राचार्य, व्याख्याता और शिक्षकों की कमी से जिलों का प्रदर्शन बिगड रहा है। बोर्ड परीक्षा में छात्रों के प्रदर्शन से जिले का परिणाम स्कूल शिक्षा विभाग के अधिकारी तय करते हैं। पिछले साल के कुछ परिणामों ने रायपुर, दुर्ग और राजनांदगांव समेत अन्य जिलों के आंकड़ों को प्रभावित किया है। जिला शिक्षा अधिकारी अपने जिले का परिणाम सुधारने के लिए वरिष्ठ अधिकारियों से कई बार प्राचार्य, व्याख्याता और शिक्षक उपलब्ध कराने के लिए पत्राचार कर चुके है, लेकिन हर बार विभागीय अधिकारी उन्हें आश्वासन देकर टरका देते हैं।

Copyright © 2021 Patrika Group. All Rights Reserved.