पंचायत चुनावों को लेकर गांवों में राजनीतिक सरगर्मी तेज हो गई है। वर्तमान सरपंच जहां एक बार फिर से दावेदारी करने की तैयारी में जुटे हुए हैं वहीं पिछली बार चुनाव हार चुके उम्मीदवार एक बार फिर से भाग्य आजमा की कोशिश में हैं लेकिन आरक्षण के कारण वे अब तक अपनी स्थिति को लेकर असमंजस की स्थिति में थे, उन्हें सरपंच पद के आरक्षण को लेकर संशय था। इस बीच शासन द्वारा अपरिहार्य कारण बताते हुए सरपंच पद के लिए चल रही आरक्षण की प्रक्रिया को स्थगित कर दिया गया है। हालांकि इस बाबत जारी आदेश में स्पष्ट रूप से कहा गया हे कि आरक्षण की प्रकिया केवल सरपंच पदों के लिए ही स्थगित की गई न कि अन्य पदों के लिए। इस आदेश में कहा गया है कि त्रिस्तरीय पंचायतों के पदाधिकारियों जिसमें ग्राम पंचायत के पंच, सरपंच, जनपद पंचायत के सदस्य, अध्यक्ष एवं जिला पंचायत के सदस्यों का प्रवर्गंवार आरक्षण की प्रस्तावित तिथि 23 नवम्बर निर्धांरित की गई है।