रेलवे को अब जो नए कोच मिलेंगे, उनमें बर्थ की संख्या 80 होगी। लोकल गाडि़यों में दो-दो कोच बढ़ाने के लिए ने रेलवे बोर्ड को जो पत्र भेजा था, उसको मंजूरी मिलने की उम्मीद की जा रही है।
रायपुर. दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे को अब जो नए कोच मिलेंगे, उनमें बर्थ की संख्या 80 होगी। जबकि, लोकल गाडि़यों में दो-दो कोच बढ़ाने के लिए रेलवे अफसरों ने रेलवे बोर्ड को जो पत्र भेजा था, उसको मंजूरी मिलने की उम्मीद की जा रही है। लोकल ट्रेनों में कोच बढ़ जाने से रायपुर, दुर्ग, डोंगरगढ़, बिलासपुर के बीच सफर करने वाले यात्रियों को काफी राहत मिल सकती है।
रेल अफसरों का कहना है कि जो नए कोच बन रहे हैं, उनमें आठ सीटों की बढ़ोतरी की गई है। इसी हिसाब से कोच का निर्माण शुरू कर दिया गया है। जबकि पुराने कोच में बर्थ की संख्या 72 रहती है। 80 बर्थ वाले कोच को सबसे पहले लंबी दूरी की मेल और सुपरफास्ट ट्रेनों में लगाया जाना है। क्योंकि, जिस तेजी से रेल यात्रियों की संख्या बढ़ रही है, उसके अपेक्षा कोच और सीटें काफी कम पड़ रही हैं। रेल मंत्रालय अगले दो-तीन सालों में कन्फर्म टिकट जारी करने की दिशा में काम करना शुरू कर दिया गया है। पंजाब रेलवे जोन को बढ़े हुए बर्थ वाले कोच उपलब्ध कराए गए हैं। इससे यह तय माना जा रहा है कि दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे को भी जल्द ही नए कोच आवंटित होंगे।
डेमू-मेमू में लगेगा दो-दो और कोच
रायपुर रेल मंडल से दर्जनभर लोकल ट्रेनों का संचालन होता है। लेकिन कोच की संख्या किसी में ८ तो किसी में १२ होती है। इन गाडि़यों दो-दो और कोच लगाने का प्रस्ताव रेलवे बोर्ड को चार महीना पहले भेजा जा चुका है। उस पर सैद्धांतिक सहमति मिल गई है। रेल मंडल प्रबंधक ने इस तर्क के साथ कोच की डिमांड की थी कि रोजाना सफर करने वाले यात्रियों को बैठने तक की जगह नहीं मिल पाती है। उन्हें खड़े-खड़े सफर करना पड़ता है। खासकर रायपुर से बिलासपुर, दुर्ग, डोंगरगढ़ और गोंदिया के बीच चलने वाली लोकल ट्रेनों में सबसे अधिक भीड़ होती है।
कोच की संख्या बढ़ाने की आवश्यकता लंबे समय से महसूस की जा रही है। रायपुर रेल मंडल की गाडि़यों में कोच बढ़ाने का डिमांड नोट भेजा गया है। उम्मीद है कि जल्द ही नए कोच का आवंटन मिल सकता है।
राहुल गौतम, डीआरएम